वैभव बेमेतरिहा, रायपुर. शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती ने लल्लूराम डाॅट काम से हिंदू राष्ट्र से लेकर गौठान, राम वनगमन, नशामुक्त अभियान पर बातचीत की. हिंदू राष्ट्र के सवाल पर शंकर्राचार्य का कहना है कि लगभग 20 महीने पहले पुरी में मैं जिस कक्ष में निवास करता हूं वहां दीवाल पर भगवती दुर्गा जी का चित्र है, उसे देखते हुए मुंह खुल गया है. तीन बार मेरे मुख से निकला हिंदू राष्ट्र… हिंदू राष्ट्र… हिंदू राष्ट्र. मैंने समझा भगवती की प्रेरणा है तब से मैंने हिंदू राष्ट्र कहना प्रारंभ किया. जब रघु.. दिलीप इत्यादि का शासन था, तब सभी हिंदू थे. सनातनी वैदिक कुछ रहे हो या न रहे हो, लेकिन हिंदू थे.
शंकराचार्य ने कहा, आज की स्थिति में जितने मनुष्य हैं सब हिंदू नहीं है. इसलिए हिंदू राष्ट्र कहने की आवश्यकता है. और हम तो सबको पूर्वज से जोड़ते हैं. सबके पूर्वज हिंदू सनातनी थे, सभी विद्या में निपुण थे. गुप्त बात कहने की नहीं है, लेकिन मैं फिर भी कह रहा हूं. मुस्लिम तंत्र की योजना थी कि 40 वर्षों में संख्या इतनी बढ़ा दो कि भारत में हिंदू अल्पसंख्य बन जाए. क्रिश्चनों की योजना थी कि सेवा के बहाने हिंदुओं को क्रिश्चन बनाते रहो और अंत में मुसलमानों के साथ गठबंधन कर लो या मुसलमानों की भावना रही कि क्रिश्चनों से गठबबंधन कर भारत पर कब्जा कर लो. ऐसी सूचना मेरे पास थी, इसको देखते हुए मैंने हिंदू राष्ट्र की बात कही.
उन्होने कहा, केजरीवाल आदि नेता खालिस्तान की बात कहते रहे. अब जब से हम हिंदू राष्ट्र की बात कह रहे तो खालिस्तान की बात दब गई. हिंदू राष्ट्र की बात सोच-समझकर हमने कही है, भगवती ने कहलवाया और सफलता मिल रही है.
मोदी और योगी से नाराज
हिंदू राष्ट्र को लेकर संतों के भी मतभेद के सवाल पर शंकराचार्य कहते हैं कि जो ऐसा कहते हैं वो आकर बैठें सामने, किसने मना किया है. जिस कार्य में ईश्वर जिसके निमित्त बनाते हैं उसके हृदय में सब योजना होती है. बूरा न माने सब सिद्धि होती है. 10 हजार वर्ष नहीं 10 लाख वर्ष आगे क्या होगा मुझे मालूम है.
रामसेतू की रक्षा हुई या नहीं हुई. इस पर शंकराचार्य ने कहा, भगवान के पास हमने प्रार्थना की. नरसम्हिा राव के शासनकाल में रामालय ट्रस्ट बना था. उस समय एक हस्ताक्षर अभियान चला था. मैंने उसमें हस्ताक्षर नहीं किया. नरसिम्हा राव ने जिन महानुभावों ने हस्ताक्षर किया उसके सह पर मुझे मरवाने का अभियान चलवाया, अपहरण का अभियान चलवाया था. उसमें सफल नहीं हुए. अगर मैंने हस्ताक्षर कर दिया होता तो आज अयोध्या में मंदिर के अगल-बगल में आमने-सामने मस्जिद होती. एक विचित्र स्थिति होगी अभी 5 एकड़ जमीन 25 किलोमीटर दूर दी गई है, उसी की अनुकृति की होगी मथुरा को लेकर भी, काशी को लेकर भी. इस समय राम मंदिर को लेकर मोदी और योगी जी श्रेय तो ले रहे हैं, लेकिन भविष्य में एक उत्तर प्रदेश में तीन नए पाकिस्तान बन जाएंगे.
केवल आरएसएस प्रधानमंत्री हैं…
देश में हिंदुत्व की पार्टी वाली सरकार के सवाल पर शंकराचार्य कहते हैं कि आप बताइये ऐसा है भी कि नहीं ? देश में गौ हत्या हो रही है या नहीं ? गोरक्षा हो रही या नहीं ? प्रधानमंत्री ने तो गोरक्षक गुंडे तक कह दिया. हजारों हिंदू रोज क्रिश्चन बन रहे हैं ? हिंदू के पक्षधर कैसे कहेंगे ? केवल आरएसएस के प्रधानमंत्री हैं इसलिए हिंदू के पक्षधर हो जाएंगे ? मैं तो ऐसा नहीं मानता.
भगवान राम और गो रक्षा पर काम हो तो अच्छा है
छत्तीसगढ़ में राम, रामवनगमन, गौ संरक्षण, रामायण के सवाल पर कहते हैं कि मुझे देखने को मिलेगा तो मैं बताऊंगा, लेकिन सब अच्छा है. ऐसा काम हो रहा है तो अच्छा ही है. मुझे अब नहीं पता कि कहां-कहां काम हो रहा है. यात्रा तो भगवान राम ने छत्तीसगढ़ में की है. छत्तीसगढ़ का नाम कोसल प्रदेश रहा है. माता कौशल्या के नाम पर कोसल नाम रहा है.
शराबबंदी से पहले नशाबंदी जरूरी
छत्तीसगढ़ में सरकार की ओर से नशामुक्त अभियान के सवाल पर कहते हैं कि नशा मुक्त समाज तो होना ही चाहिए. बिहार में तो शराबबंदी है लेकिन शराब बिक रहा है कि नहीं ? विद्यार्थी लोग नशा कर रहे हैं. शराब की तस्करी हो रही है इसलिए शराबबंदी पर ही रोक से काम नहीं चलेगा ? नशाबंदी जरूरी है. समाज को पहले इसके लिए जागृत करना होगा. प्रदेशवासियों, देशवासियों को राष्ट्रभक्ति की नशा से जोड़ना होगा.
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