रिपोर्ट- रमेश सिन्हा,  पिथौरा। रथयात्रा के अवसर पर लगे मीना बाजार को एसडीएम पिथौरा द्वारा अचानक बंद कराए जाने से स्थानीय लोगों में काफी आक्रोश है। जिसकी वजह से गुरुवार को शहर बंद रखा गया।

मीना बाजार के स्थगन के बाद शीतला समाज पिथौरा द्वारा आपात बैठक रखी गई, जिसमें शीतला समाज के पदाधिकारियों एवं सदस्यों सहित कुछ पार्षदों व नगर के गणमान्य नागरिक उपस्थित थे। बैठक में चर्चा करते हुए यह निर्णय लिया गया कि प्रशासन की सहमति से अब जब मीना बाजार सज चुका है।

रथयात्रा के दिन इसका संचालन भी होकर लोगों को मनोरंजन भी उपलब्ध कराया जा रहा था, तब अब ऐसी क्या बात हो गई कि मीना बाजार के प्रदर्शन को स्थगित करना पड़ा। शीतला समाज के एक पदाधिकारी ने बैठक में जानकारी दी कि मीना बाजार के लिए विधिवत अनुमति दी गई थी।

लेकिन नगर पंचायत द्वारा शिकायत करते हुए आपत्ति प्रस्तुत किए जाने पर एसडीएम पिथौरा के न्यायालय में सभी पक्षों को सुना गया। मीना बाजार संचालक के विरुद्ध प्रतिदिन संचालन के लिए एक निश्चित राशि शासन के पक्ष में जमा करने के लिए शर्त अधिरोपित करते हुए मीना बाजार संचालन की अनुमति दी गई थी। बैठक में सर्वसम्मति से निर्णय लेते हुए प्रशासन के नाम एक ज्ञापन तैयार कर यह आगाह किया है कि यदि एसडीएम पिथौरा द्वारा जारी स्थगन आदेश को तत्काल निरस्त नहीं किया जाता है तो 29 जून को नगर बंद एवं चक्काजाम करते हुए प्रशासन के विरुद्ध आंदोलन की रूपरेखा तय की गई है।

तहसीलदार एवं थानेदार को सौंपा था ज्ञापन
बैठक में लिए गए निर्णय पश्चात प्रशासन के नाम तैयार ज्ञापन को नगर शीतला समाज द्वारा एसडीएम की अनुपस्थिति में कल शाम नायब तहसीलदार को सौंपते हुए यथाशीघ्र मीना बाजार के संचालन के लिए लगाए गए स्थगन को तत्काल निरस्त करने कहा गया था।
 बन्द हुआ नगर
शीतला समाज पिथौरा के आव्हान पर आज सुबह कोई भी दुकान नही खुली सभी व्यवसाइयों ने अपनी अपनी दुकानें बंद रख मांगों का समर्थन किया। नगर बन्द होने से लोगो को चाय तथा पानी भी नसीब नही हुआ। बन्द के समर्थक घूम घूम कर निगरानी करते देखे गए। बन्द लगभग शांति पूर्ण दिखा । कल शाम को बंद का आव्हान कर दिए जाने से अधिकांश व्यवसायिक प्रतिष्ठानें स्वस्फूर्त बन्द रही।