भोपाल। मध्य प्रदेश के गुना में आदिवासी क्रांतिकारी टंट्या मामा की मूर्ति की स्थापना पर प्रशासन ने रोक लगा दी। पूर्व सीएम व राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह तीन मार्च (सोमवार) को मूर्ति का अनावरण करने वाले थे, लेकिन एक मार्च की रात पुलिस ने बैरिकेडिंग लगाकर मूर्ति की स्थापना को गैरकानूनी घोषित कर दिया। इसे लेकर अब दिग्गी ने सवाल उठाए हैं। वहीं उन्होंने कहा कि प्रतिमा स्थापना के लिए आंदोलन करना पड़े, तो वे उससे पीछे नहीं हटेंगे।

प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री व राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह 3 मार्च 2025 को गुना के राघोगढ़ विधानसभा क्षेत्र की ग्राम पंचायत पीपलखेड़ी में महान आदिवासी क्रांतिकारी टंट्या मामा की मूर्ति का अनावरण करने वाले थे, लेकिन 1 मार्च की रात पुलिस ने उस क्षेत्र में बैरिकेडिंग लगाकर मूर्ति की स्थापना को गैरकानूनी घोषित कर दिया। इसे लेकर दिग्गी ने एक वीडियो जारी कर बताया कि इस संबंध में उन्होंने तत्काल जिला कलेक्टर गुना और राघोगढ़ के SDM से बात की, जिन्होंने मूर्ति स्थापना को सुप्रीम कोर्ट और हाई कोर्ट के आदेशों का उल्लंघन बताया।

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अधिकारियों से पूछा सवाल

इस पर पूर्व सीएम ने अधिकारियों से पूछा कि क्या प्रदेश शासन से स्वीकृति लेने की कोई प्रक्रिया है ? यदि हां तो उसे उन्हें क्यों नहीं भेजा गया ? साथ ही सुप्रीम कोर्ट व हाई कोर्ट का कोई आदेश हो तो उन्हें दिखाया जाए। इसके बाद अधिकारियों ने कोर्ट के दो आदेशों की कॉपी भेजी, जिसे पढ़ने के बाद उन्होंने बताया कि दोनों ही आदेश शहरों में सड़क व चौराहों पर ट्रैफिक अवरुद्ध न हो, इसे लेकर दिए गए हैं।

प्रशासन को घेरा

दिग्विजय सिंह ने कहा कि पीपलखेड़ी एक ग्राम पंचायत है और उसने मूर्ति लगाने की इजाजत दी है। प्रशासन से जब पूछा गया कि ट्रैफिक अवरुद्ध होने की शिकायत किसने की तो कोई जवाब नहीं मिला। लेकिन आयोजकों को प्रशासन ने ‘ऊपर’ से आदेश होने का संकेत दिया। उन्होंने कहा कि प्रशासन आजकल यदि कोई अवैधानिक निर्णय लेना चाहता है, तो उसे ‘ऊपर’ से आदेश होने का बहाना बनाकर टाल देता है।

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दिग्गी बोले- धूमधाम से किया जाएगा मूर्ति का अनावरण

उन्होंने सवाल उठाया कि यदि सुठालिया में रानी अवंती बाई की प्रतिमा स्थापना सही थी, तो पीपलखेड़ी में टंट्या मामा की मूर्ति गैरकानूनी कैसे हो सकती है? पूर्व सीएम ने आयोजकों से अनुरोध किया कि वे एक सप्ताह इंतजार करें। उन्होंने कहा कि आदिवासी समुदाय के लोगों ने चंदा इकट्ठा कर इस मूर्ति का निर्माण कराया है और इसे किसी गैरकानूनी विवाद में नहीं डालेंगे। उन्होंने विश्वास दिलाया कि टंट्या मामा की मूर्ति का अनावरण और अधिक धूमधाम से किया जाएगा। दिग्गी ने कहा कि आदिवासी क्रांतिवीर टंट्या मामा में उनकी आस्था है और यदि उनकी प्रतिमा स्थापना के लिए आंदोलन करना पड़े तो वे उससे पीछे नहीं हटेंगे।

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