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हमीरपुर. सरकारी अस्पतालों में लापरवाही सामने आती रहती है. अब हमीरपुर सरकारी अस्पताल में 30 साल की महिला की नसबंदी कराने के बाद हालत बिगड़ गई. बाद में परिजन उसे इलाज के लिए कानपुर ले जाने लगे, लेकिन रास्ते में ही महिला की मौत हो गई. इसके बाद परिवार में कोहराम मच गया. परिजनों ने डॉक्टर पर गलत ऑपरेशन का आरोप लगाया है.
घटना मौदहा कोतवाली क्षेत्र की है. जहां बह्मरौली के डीहा डेरा गांव के रहने वाले चंद्रपाल की 30 साल की बेटी पूजा की शादी बांदा जिले के जसपुरा थाना क्षेत्र के बरेहठा गांव के रहने वाले रामगोपाल के साथ हुई थी. रामगोपाल गोवा में मजदूरी करता है. चंद्रपाल ने बताया कि एएनएम और आशा बहू के कहने पर 15 दिसंबर को सीएचसी मौदहा में नसबंदी हुई थी. स्वास्थ्य कर्मियों के समझाने पर बेटी राजी हो गई थी. नसबंदी वाले दिन से ही हालत बिगड़ती चली गई. उन्हें सीएचसी से डिस्चार्ज कर दिया गया.
घर आने के बाद से पूजा की हालत और बिगड़ गई और उसे लगातार उल्टियां, दस्त, पेट में दर्द और पेशाब में जलन की शिकायत थी. सोमवार शाम उसे लेकर सीएचसी भागे. मृतका के पिता ने बताया कि ऑपरेशन करने वाली डॉक्टर कानपुर में थी. फोन से बात करने पर डॉक्टर ने मरीज को कानपुर आने की सलाह दी.
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पूजा को लेकर कानपुर जा रहे थे, तभी रास्ते उसकी मौत हो गई. जिसके बाद शव लेकर वापस सीएचसी पहुंचे. दूसरी ओर सूचना मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची और पूजा के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया. पिता का कहना है कि पूजा की नसबंदी में सीएचसी स्तर पर लापरवाही बरती गई. जिससे उसकी मौत हो गई.
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