अहमदाबाद से लंदन जा रही फ्लाइट AI 171 के क्रैश होने के बाद देश की विमानन नियामक संस्था DGCA (नागरिक उड्डयन महानिदेशालय) ने एअर इंडिया और एअर इंडिया एक्सप्रेस के शीर्ष प्रबंधन के साथ उच्चस्तरीय बैठक की. बैठक में DGCA ने एअर इंडिया के CEO कैंपबेल विल्सन को कंपनी के संचालन से जुड़े कई मुद्दों पर फोकस करने के निर्देश दिए. DGCA ने एअर इंडिया से विमान सुरक्षा और मेंटेनेंस पर पूरा ध्यान केंद्रित करने की बात कही.

नागरिक उड्डयन महानिदेशालय ने कहा कि किसी भी तकनीकी खामी को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता. हर विमान को उड़ान से पहले कड़े सुरक्षा मानकों पर खरा उतरना चाहिए. उड़ानों के संचालन को और अधिक अनुशासित बनाया जाए. DGCA ने कहा कि समय पर उड़ानों का संचालन एयरलाइन की साख और यात्रियों के भरोसे के लिए अनिवार्य है.

देर से उड़ानों और कैंसिलेशन की स्थिति को लेकर नियामक ने एअर इंडिया को कहा है कि ऐसी स्थिति में यात्रियों को स्पष्ट जानकारी और सहायता उपलब्ध कराई जाए. DGCA ने एअर इंडिया से क्राइसिस कम्युनिकेशन (संकट संवाद) प्रणाली को और अधिक प्रभावी बनाने की बात कही है.

जानिए बैठक में किन-किन मुद्दों पर हुई चर्चा

बैठक में एअर इंडिया और एअर इंडिया एक्सप्रेस के वरिष्ठ अधिकारियों को बुलाया गया था. DGCA ने स्पष्ट किया कि AI 171 फ्लाइट हादसे के बाद यात्रियों की सुरक्षा सबसे बड़ी प्राथमिकता है. यह सुनिश्चित किया जाए कि किसी भी उड़ान से पहले सभी तकनीकी परीक्षण समयबद्ध और प्रमाणिक तरीके से किए जाएं. फ्लाइट डिले या तकनीकी खराबी जैसी स्थिति में यात्रियों को एयरलाइन की तरफ से मिलने वाली जानकारी, सुविधाएं और सेवा मानकों को दुरुस्त किया जाए.

अहमदाबाद में प्लेन क्रैश होने 270 लोगों की हुई थी मौत

बता दें कि अहमदाबाद में प्लेन क्रैश बोइंग कंपनी के 787 ड्रीमलाइनर विमान से जुड़ी सबसे भयावह दुर्घटनाओं में से एक है. अमेरिकी विमान निर्माता बोइंग का यह सबसे आधुनिक वाइडबॉडी एयरलाइनर है. एअर इंडिया का यह विमान सिर्फ 12 साल पुराना था और दुर्घटना से कुछ घंटे पहले ही दिल्ली से यात्रियों को लेकर अहमदाबाद पहुंचा था. इसमें 242 लोग सवार थे. इस हादसे में 270 लोगों की मौत हुई थी. इनमें उस इमारत में मौजूद लोग भी शामिल हैं, जिससे ये विमान टकराया.