आरिफ कुरैशी, श्योपुर। जिला अस्पताल में उपचार के दौरान मौत के बाद आदिवासी व्यक्ति के शव को उसके घर तक पहुंचाने के लिए शव वाहन नहीं मिला। मजबूरी में गरीब आदिवासी के परिजनों को ऑटो से शव लेकर जाना पड़ा। इस मामले का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।
दरअसल वर्धा गांव निवासी रामअवतार आदिवासी का पिछले दो दिनों से जिला अस्पताल में उपचार चल रहा था। रविवार शाम उसकी मौत हो गई। मृतक के परिजन शव को ले जाने कई घंटों तक वाहन का इंतजार करते रहे लेकिन, वाहन नहीं मिला। मजबूरी में ऑटो से शव ले जाना पड़ा। खास बात यह रही कि मृतक केशव की बॉडी को ऑटो में रखने के लिए अस्पताल से कोई वार्ड बॉय या कर्मचारी नहीं मिला। ऐसे में समाजसेवियों और मौके पर मौजूद लोगों की मदद से ऑटो में शव रखना पड़ा। वीडियो वायरल होने के बाद सिविल सर्जन डॉ प्रदीप सिंह सिकरवार सफाई दे रहे हैं कि, उनके पास शव वाहन नहीं है। नगर पालिका से शव वाहन नियमानुशार डिमांड करते है तब उपलब्ध कराते है। उन्होंने किसी से डिमांड ही नहीं की होगी। कई बार लोग बिना किसी को कुछ बोले ही चले जाते हैं।
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