चंडीगढ़। शिरोमणि अकाली दल के नेता बिक्रम सिंह मजीठिया को गुरुवार को मोहाली की अदालत ने ड्रग्स मामले में 8 मार्च तक न्यायिक हिरासत में भेजा है. मोहाली कोर्ट के आदेश के बाद बिक्रम सिंह मजीठिया को पटियाला की जेल में ले जाया गया. बिक्रम मजीठिया ने पूरे मामले को अपने खिलाफ राजनीतिक साजिश बताया है.

8 मार्च तक जेल भेजे गए दिग्गज अकाली नेता बिक्रम सिंह मजीठिया, आज मोहाली कोर्ट में किया था सरेंडर, कल होगी रेगुलर बेल पर सुनवाई

 

मजीठिया ने गुरुवार को मोहाली कोर्ट में किया था सरेंडर

बता दें कि ड्रग्स केस में फंसे अकाली नेता बिक्रम सिंह मजीठिया ने गुरुवार को मोहाली कोर्ट में सरेंडर कर दिया था. जिसके बाद उन्होंने जमानत याचिका दायर की. इसके बाद कोर्ट परिसर में ही पंजाब पुलिस की SIT ने उनसे पूछताछ की. AIG बलराज सिंह की अगुवाई में उनसे करीब डेढ़ घंटे तक पूछताछ की गई. इसके बाद मोहाली कोर्ट ने बिक्रम मजीठिया को 8 मार्च तक जेल भेज दिया. मजीठिया को जेल भेजने के बाद डिप्टी सीएम सुखजिंदर रंधावा ने ‘भगवान के घर देर है, अंधेर नहीं’ की लाइन लिखी थी. मोहाली कोर्ट में पेश होने से पहले मजीठिया ने कहा था कि ”माननीय उच्चतम न्यायालय के आदेश के अनुसार मैं मोहाली की अदालत के समक्ष पेश हुआ हूं. मुझे राजनीतिक साजिश के जरिए इस मामले में फंसाने की कोशिश की जा रही है. मुझे कोर्ट पर पूरा विश्वास है.”

 

23 फरवरी तक गिरफ्तारी पर थी रोक

बता दें कि बिक्रम सिंह मजीठिया को सुप्रीम कोर्ट ने 23 फरवरी तक गिरफ्तारी से राहत दी थी, जिसके बाद उनके कल सरेंडर करने की चर्चा थी, लेकिन वकीलों से बातचीत के बाद वह आज सरेंडर करने आए. इससे पहले कल मोहाली में पंजाब पुलिस की एसआईटी पूरा दिन इंतजार करती रही लेकिन मजीठिया सरेंडर करने नहीं आए थे. मजीठिया के खिलाफ मोहाली की क्राइम ब्रांच में इंटरनेशनल ड्रग तस्करों के साथ सांठगांठ के आरोप में केस दर्ज है. हालांकि अकाली दल का कहना है कि पंजाब की कांग्रेस सरकार ने राजनीतिक बदला लेने के लिए यह केस दर्ज किया.

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पहले जमानत याचिका हो चुकी है खारिज

बिक्रम मजीठिया के खिलाफ केस दर्ज होने के बाद उन्होंने मोहाली कोर्ट में अग्रिम जमानत लगाई थी, हालांकि यह खारिज हो गई. इसके बाद वह पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट चले गए. वहां कुछ दिन की अंतरिम राहत के बाद उनकी याचिका खारिज हो गई. फिर वे सुप्रीम कोर्ट गए. सुप्रीम कोर्ट ने 20 फरवरी को विधानसभा चुनाव को देखते हुए 23 फरवरी तक उनकी गिरफ्तारी पर रोक लगा दी थी. बिक्रम मजीठिया इस बार पंजाब कांग्रेस चीफ नवजोत सिंह सिद्धू के खिलाफ अमृतसर ईस्ट से चुनाव लड़ रहे हैं. पहले वह मजीठा सीट से उम्मीदवार थे, लेकिन सिद्धू ने उन्हें अमृतसर ईस्ट से चुनाव लड़ने की चुनौती दी. मजीठिया ने शर्त कबूल कर ली और मजीठा से पत्नी गनीव कौर को उम्मीदवार बनाकर उन्होंने सिर्फ अमृतसर ईस्ट से चुनाव लड़ा है.