मुंबई. केंद्र और महाराष्ट्र में बीजेपी की सहयोगी शिवसेना लंबे समय बीजेपी से नाराज चल रही है. इसी के तहत बुधवार को बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे से उनके निवास मोतोश्री में मुलाकात की. ये बैठक दोनों पार्टियों के लिए काफी महत्वपूर्ण हैं,क्योंकि दोनों दलों के संबंध पिछले कुछ समय से ठीक नहीं चल रहे हैं.
बैठक के लिए उनके साथ महाराष्ट्र के सीएम देवेंद्र फडणवीस भी ठाकरे के घर पहुंचे थे. हालांकि फडणवीस बेठक में शामलि नहीं हुए. बताया जा रहा है कि ये बैठक तकरीबन एक घंटे 40 मिनट तक चली है. हालांकि बैठक में क्या-क्या चर्चा हुई ये कह पाना मुश्किल है.
इधर बीजेपी ने कहा है कि यह बैठक अगले वर्ष होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले उसके ‘सम्पर्क फॉर समर्थन’ अभियान को लेकर थी, जिसका नेतृत्व शाह कर रहे हैं. इसे बहुत महत्वपूर्ण बैठक के तौर पर देखा जा रहा है क्योंकि केंद्र और राज्य स्तर पर गठबंधन सहयोगी होने के बावजूद भाजपा और शिवसेना के संबंधों में खटास आई है. गठबंधन सहयोगी दोनों पार्टियों ने पालघर लोकसभा सीट के लिए गत 28 मई को हुआ उपचुनाव अलग-अलग लड़ा था और प्रचार के दौरान दोनों ने एकदूसरे पर जमकर हमले किए थे.
शिवसेना ने उठाए सवाल
शिवसेना विशेष तौर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से खिन्न हैं और उसने लगातार उन पर हमले किए हैं. पालघर उपचुनाव में भाजपा से हार का सामना करने के बाद शिवसेना ने सहयोगी पार्टी को ‘सबसे बड़ा राजनीतिक शत्रु’ करार दिया था. शिवसेना ने शाह और ठाकरे के बीच ‘चार वर्ष के अंतराल के बाद’ बैठक की ‘जरूरत’ पर कल सवाल उठाया था. शिवसेना पहले ही घोषणा कर चुकी है कि 2019 वह अकेले ही चुनाव लड़ेगी.
इतना ही नहीं शिवसेना ने दोनों की मुलाकात से पहले ही अपने मुखपत्र के माध्यमस बीजेपी पर हमला करते हुए किया था.’सामना’ में प्रकाशित संपादकीय में शिवसेना ने विभिन्न राज्यों में हुए उपचुनावों में हार के बाद भाजपा के पहुंच कार्यक्रम पर सवाल उठाया. संपादकीय में कहा गया कि शिवसेना आगामी सभी चुनाव अकेले लड़ेगी.