श्रीनगर. जम्मू कश्मीर पुलिस ने बड़ी कार्रवाई करते हुए लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी), जैश-ए-मोहम्मद (जेएम), अल-बद्र और द रेसिस्टेंस फ्रंट (टीआरएफ) के 900 से अधिक ओवर-ग्राउंड वर्कर्स (ओजीडब्ल्यू) को गिरफ्तार किया गया है. सूत्रों के मुताबिक कश्मीर में आतंकियों द्वारा अल्पसंख्यक नागरिकों पर हुए हमले के बाद ये अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई है.
सूत्रों के मुताबिक सभी बंदियों से विभिन्न जांच एजेंसियों की संयुक्त पूछताछ चल रही है. एजेंसियां गिरफ्तार किए गए ओवर-ग्राउंड वर्कर्स से यह पूछना चाह रही है कि आखिरकार ये सभी जम्मू कश्मीर के अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों को ही क्यों निशाना बना रहे हैं.
बता दें कि घाटी में कश्मीरी पंडित व्यवसायी माखन लाल बिंदरू और दो अन्य नागरिकों की मौत की जिम्मेदारी टीआरएफ प्रमुख ने ली है. पिछले दिनों जम्मू पुलिस की ओर से जारी किए गए आधिकारिक बयान में कहा गया था कि कहा कि आतंकियों ने बिंदरू मेडिकेट के मालिक बिंदरू (68) को उस वक्त निशाना बनाया था जब वह अपनी फार्मेसी में थे.
इसके बाद करीब साढ़े आठ बजे आतंकियों ने लाल बाजार इलाके में गोलगप्पा बेचने वाले विरेंद्र पासवान की हत्या कर दी. विरेंद्र पासवान बिहार के भागलपुर के रहने वाले थे.
इसके बाद करीब आठ बजकर 45 मिनट पर आतंकियों ने बांदीपोरा के शाहगुंड इलाके में एक आम नागरिक की हत्या कर दी. जम्मू-कश्मीर पुलिस ने कहा कि मृतक की पहचान नायदखाई निवासी मोहम्मद शफी लोन के रूप में हुई थी.
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