ऐ बापू, आप वाकई बहुत खतरनाक आदमी हैं…
पूरे जीवन में इतनी नफ़रत नहीं देखी तो
मैंने अपने पूरे जीवन में ईद और क्रिसमस के इतने बधाई सन्देश नहीं देखे.
पूरे जीवन में ऐसी एकजुटता सांप्रदायिक सौहार्द्र, भाईचारे और जोशीले तेवरों के साथ किसानों जैसा आंदोलन नहीं देखा.
पूरे जीवन में बहादुर महिलाओं का महान शाहीन बाग जैसा आंदोलन नहीं देखा.
सैकड़ों सामाजिक कार्यकर्ताओं का इस तरह दमन, जेलयात्रा और फिर भी कभी न झुकने का जज़्बा नहीं देखा
खास बात….. ये सारी लड़ाई गांधीवादी तरीके से शांतिपूर्ण ढंग से लड़ी गयीं …ये वाकई हमने आज़ादी के बाद पहली बार देखा ..
ऐ , बापू आप वाकई बहुत खतरनाक आदमी हैं इन नफ़रतियों के लिए . दशकों से ये आप पर गोली – गाली बरसा रहे पर सौ साल बाद भी आपके सीधे- सादे विचारों के जवाब में इनके पास सिर्फ गालियाँ हैं तब आप पर गोलियां दागी आज आपके बच्चों पर दागी जा रही.
आप इनके लिए खतरनाक इसलिए हैं कि घर में ये आपके नाम पर गाली-गोली बरसाते हैं और विदेश में इनको आपके सामने घुटने टेकने होते हैं
आप इनके लिए खतरनाक इसलिए हैं कि सबसे ठंडी रातों में ये पानी के बम बरसाते हैं ,कीलें ठुकवाते हैं पर लोग ‘वैष्णव जन तो तेने कहिये जे पीड़ परायी जाणे रे..’ गाते आगे बढ़ते हैं जीतते हैं..
आप इनके लिए खतरनाक इसलिए हैं कि आपको गोलियाँ मारने के बाद भी आपकी अमरता से ये घबराये हैं और आये दिन कभी पुतलों को गोली मारते हैं कभी धरम संसद से गालियाँ दागते हैं ..
कदम -कदम पर इनकी बौखलाहट ,घबराहट ,पागलपन से ज़ाहिर हैं ये कितने डरे हुए ,गले हुए मरे हुए से हैं …..
बापू , ये आप से नफ़रत कम करते हैं डरते ज़्यादा हैं .
इसलिए बापू आप इनके लिए आज पहले से भी खतरनाक हैं ..
इसलिए बापू कहता हूँ इन डरे गालीबाज़ों पर क्या FIR करवाना ?
आज आप FIR के बदले नफ़रत के खिलाफ़ हिन्दू -मुस्लिम, सिखों.. सब को लेकर मैदान में होते.
आज भी हिदुस्तान के दिल में सिर्फ गाँधी हैं और जिनके -जिनके दिल में गाँधी हैं, उन सबको किसानों ,बहादुर महिलाओं की तरह और ज़्यादा ताकत से मैदान में होना चाहिए …इसी बात से ये डरते हैं और ये डर बना रहना चाहिए.