रायपुर. विधानसभा में मंगलवार को मंत्री रविंद्र चौबे के विभागों के बजट अनुदान मांगों पर चर्चा शुरू हुई. इस दौरान पूर्व मंत्री बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि इस सरकार ने अपने दिवंगत नेताओं तक का सम्मान नहीं किया. राजीव गांधी न्याय योजना शुरू की लेकिन ये अन्याय योजना साबित हुई.
उन्होंने कहा कि कांग्रेस नहीं होती तो देश बहुत पहले आज़ाद हो चुका होता, कांग्रेस है तो कश्मीर का हिस्सा पीओके होकर पाकिस्तान में नहीं गया होता, कांग्रेस है तो भारत के टुकड़े हुए, कांग्रेस है तो भगत सिंह को फांसी हुई, चंद्रशेखर आज़ाद शहीद हुए, कांग्रेस है तो भ्रष्टाचार है. कांग्रेस है तो देश के करोड़ों राम भक्तों के लिए राम मंदिर बना है. कांग्रेस है तो लखीमपुर में मृत किसानों को पचास लाख मिलेगा लेकिन छत्तीसगढ़ के किसानों को चार लाख मिलेगा.
इसके जवाब में पीसीसी अध्यक्ष मोहन मरकाम ने कहा कि कांग्रेस ना होती तो ये अंग्रेजों के तलवे चाट रहे होते.
इससे पहले बीजेपी विधायक बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि 2500 रुपये देकर क्या सरकार ने किसानों को खरीद लिया है? किसानों की क्या हालत हो गई है. किसानों के हिस्से को कौन खा रहा है? कौन डकैती कर रहा है? नवा रायपुर का किसान आंदोलन इसी का उदाहरण है. किसान आज खुश नहीं है. किसानों की सबसे बड़ी शोषक पार्टी कांग्रेस है. किसानों की बिजली, उनकी सड़क, उनके स्कूलों को काट कर अगर आप 2500 रुपए दे रहे है तो सरकार एहसान नहीं कर रही है. सारा खेल सिर्फ़ आंकडों का खेल खेल रही है.
उन्होंने ये भी कहा कि जब हमारी सरकार थी तो हमने 4 लाख 75 हज़ार विद्युत पंप के कनेक्शन हमने दिए पर अभी 90 हज़ार कनेक्शन देने है लेकिन सिर्फ़ 100 करोड़ के बजट में ये सम्भव नहीं. मछली उत्पादन में हमारी सरकार के समय देश मे तीसरे नम्बर पर छत्तीसगढ़ था आज 6 वें नंबर पर है. सरकार सिर्फ़ बड़ी-बड़ी डींगे हांक रही है. 2500 रुपये देकर अगर धान का उत्पादन बढ़ा दिया लेकिन अगर उसकी जगह किसान दलहन की फसलें लेता नकदी फसलें लेता तो उसका मुनाफ़ा बढ़ता, लेकिन ऐसा नहीं किया गया. धान खरीदी का टारगेट पूरा नहीं हुआ इसलिए सरकार को अपनी गलती माननी चाहिए. 0% ब्याज पर लोन देने वाली सरकार थी तो वो सिर्फ़ भाजपा सरकार थी पर आपने ऐसा क्यों नहीं किया ?
बृजमोहन अग्रवाल ने ये भी कहा कि कोई सरकार यदि फ़्लैगशिप स्कीम लाती है. बड़ी-बड़ी होर्डिंग लगवाती है लेकिन गांवों में लोग उस पर हंसते हैं. सरकार अच्छा काम करेगी तो हम स्वागत करेंगे, मलाएँ पहनाएँगे. मंत्री खुद गौठानों की समीक्षा कर लें. सरकार आठ हज़ार ग़ौठानों की बात करती है लेकिन पांच सौ गौठान भी सही सलामत नहीं है. गौठान में सैकड़ों करोड़ रुपए फूंक दिए गए. ये एक बड़ा स्कैम है.
क्या कहा मोहन मरकाम ने…
अनुदान मांग पर सत्तापक्ष के विधायक मोहन मरकाम ने कहा कि रमन सरकार के 15 सालों की सरकार में किसानों के हाथ कटोरा पकड़ा दिया गया. 15 हज़ार से ज़्यादा किसानों ने आत्महत्या की. इसी दौरान उन्होंने कहा कि कांग्रेस ना होती तो ये अंग्रेजों के तलवे चाट रहे होते. बीजेपी के नेता जो कांग्रेस पर सवाल उठा रहे हैं ये कांग्रेस के बनाए स्कूलों में पढ़े हैं. कांग्रेस ने नारा दिया था वक़्त है बदलाव का. आज राज्य में सुखद बदलाव हो रहा है. जो काम मोदी के आठ और रमन सिंह के 15 साल के कार्यकाल में नहीं हुआ वह इन तीन सालों में हुआ है. उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ का किसान आज खुशहाल है. कृषि क्षेत्र में 114 फ़ीसदी की बढ़ोतरी हुई है. पिछले सालों में क़रीब 17 लाख किसानों का क़रीब आठ हज़ार करोड़ रुपए का कृषि ऋण माफ़ किया गया है. 15 सालों में रमन सरकार ने किसानों का एक रुपए भी माफ़ नहीं किया.