Best Performing Emerging Markets: अमेरिकी ब्रोकरेज फर्म मॉर्गन स्टेनली का अनुमान है कि भारत की अर्थव्यवस्था स्थिर रहेगी. मजबूत घरेलू निवेश के कारण भारत 2025 में सबसे बेहतर प्रदर्शन करने वाले उभरते बाजारों में से एक हो सकता है. बाजार (Share Market 2025) का मौजूदा रुझान जारी रहा तो Sensex एक साल में 1,05,000 के स्तर को छू सकता है. यह मौजूदा (Sensex Update) स्तर से 28.5 प्रतिशत की तेजी को दर्शाता है.

सेंसेक्स यह स्तर उस स्थिति में हासिल करेगा जब कच्चे तेल की कीमत लगातार 70 डॉलर प्रति बैरल से नीचे रहेगी. इससे मुद्रास्फीति में कमी आएगी और आरबीआई ब्याज दरों में उम्मीद से अधिक कटौती करेगा.

बेस केस

ब्रोकरेज फर्म ने कहा कि अगले एक साल में सामान्य रुझान (बेस केस) की स्थिति में भी सेंसेक्स 93,000 के स्तर को छू सकता है. यह 13.8% की वृद्धि दर्शाता है. यह अनुमान यह मानकर लगाया गया है कि सरकारी घाटे में कमी आने से अर्थव्यवस्था में स्थिरता आएगी, निजी निवेश बढ़ेगा और वास्तविक वृद्धि और वास्तविक दरों के बीच अंतर बढ़ेगा.

बियर केस (Best Performing Emerging Markets)

मॉर्गन स्टेनली का मानना ​​है कि अगर बाजार में मंदी (बियर केस) आती है तो सेंसेक्स मौजूदा स्तर से 14.3% गिरकर एक साल में 70 हजार के स्तर पर आ सकता है. ऐसा तब होगा जब कच्चे तेल की कीमत 110 डॉलर प्रति बैरल हो जाएगी और अमेरिकी अर्थव्यवस्था मंदी में चली जाएगी.

मार्क मोबियस को 18 महीने में 20 परसेंट रिटर्न की उम्मीद

मोबियस इमर्जिंग ऑपर्च्युनिटीज फंड के चेयरमैन मार्क मोबियस भारत की ग्रोथ को लेकर आशावादी हैं. उन्होंने अगले 12-18 महीने में भारतीय बाजार से 20 परसेंट रिटर्न की उम्मीद जताई है. उनका मानना ​​है कि इंडिया चाइना से बेहतर प्रदर्शन करेगा.

हम ग्रीन निवेश में चीन से आगे, अब दूसरे नंबर पर (Best Performing Emerging Markets)

नवीकरणीय ऊर्जा में तेजी के चलते भारत ने ग्रीन निवेश में चीन को पीछे छोड़ दिया है. तीसरी तिमाही में करीब 20 हजार करोड़ रुपये के सौदे पूरे हुए. यह चीन से चार गुना और अमेरिका से सिर्फ कुछ कम है.

5 दिन से जारी तेजी पर लगा विराम, सेंसेक्स सपाट बंद हुआ

रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति के बाद शुक्रवार को घरेलू शेयर बाजार में 5 दिन से जारी तेजी पर लगा विराम. सेंसेक्स 57 अंक गिरकर 81 हजार 709 पर बंद हुआ. निफ्टी भी 31 अंक गिरकर 24 हजार 678 पर क्लोज हुआ.

आईटी, टेक और एनर्जी शेयरों में मुनाफावसूली का दबाव रहा. वहीं, मेटल, कंज्यूमर ड्यूरेबल्स, ऑटो, सर्विसेज, टेलीकॉम और इंडस्ट्रियल शेयरों में तेजी देखने को मिली.