बेतिया। बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के नतीजों में बेतिया सीट पर भाजपा ने एक बार फिर अपना दबदबा साबित कर दिया है। बीजेपी की दिग्गज नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री रेनू देवी ने शानदार बढ़त के साथ जीत दर्ज कर राजनीतिक समीकरणों को साफ कर दिया। शुरुआती रुझानों से लेकर अंतिम परिणाम तक उन्होंने एकतरफा बढ़त बनाए रखी, जिससे स्पष्ट हो गया कि बेतिया की जनता ने इस बार भाजपा पर अपने भरोसे को और मजबूत किया है।

रेनू देवी की विशाल बढ़त

मतगणना पूरी होने पर रेनू देवी ने 90,950 वोट हासिल करते हुए अपने नज़दीकी प्रतिद्वंदी कांग्रेस उम्मीदवार वासी अहमद को 21,938 वोटों के भारी अंतर से पीछे छोड़ दिया। यह जीत न केवल व्यक्तिगत प्रदर्शन की मिसाल है, बल्कि बीजेपी के संगठनात्मक नेटवर्क और जमीनी पकड़ का भी स्पष्ट संकेत है।

अन्य उम्मीदवारों का हाल

बेतिया सीट पर बाकी उम्मीदवार मुकाबले में कहीं ठहरते नहीं दिखे।

रोहित कुमार सिकरिया (स्वतंत्र): 24,335 वोट

अनिल कुमार सिंह (जन सुराज पार्टी): 6,171 वोट

छठु शर्मा (जागरूक जनता पार्टी): 774 वोट

सतीश कुमार (सुधारवादी पार्टी): 1,288 वोट

NOTA: 1,960 वोट

इन आंकड़ों से स्पष्ट है कि मुख्य मुकाबला रेनू देवी और कांग्रेस के बीच रहा, जिसमें विपक्षी दल पूरी तरह फीके पड़े।

जीत के पीछे क्या कारण रहे?

राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि रेनू देवी की जीत कई कारणों से संभव हुई—

क्षेत्र में किए गए स्थानीय विकास कार्य

जनता से उनका सीधा संवाद और सहज उपलब्धता

भाजपा की मजबूत चुनावी रणनीति

एनडीए के प्रति लोगों की स्थिरता और शासन को लेकर सकारात्मक भावना

इन सभी कारकों ने मिलकर बेतिया में भाजपा की जीत को और मजबूत किया।

एनडीए की बढ़त को मिली मजबूती

बेतिया सीट पर मिली इस प्रचंड जीत से एनडीए के कुल समीकरण भी मजबूत होते नजर आ रहे हैं। भाजपा की इस सफलता ने गठबंधन को राज्यव्यापी बढ़त दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है, जबकि कांग्रेस और छोटे दल इस क्षेत्र में खुद को स्थापित करने में नाकाम रहे।