लक्ष्मीकांत बंसोड़, बालोद। छत्तीसगढ़ के बालोद जिले में पुलिस ने एक ऐसे युवक को गिरफ्तार किया है जो फर्जी पुलिसकर्मी बनकर लोगों से वसूली कर रहा था. बताया जा रहा है कि आरोपी अपने पिता की वर्दी पहने अपनी फोटो दिखाकर अवैध उगाही करने पहुंचा तभी उसका सामना असली पुलिस से हो गया. पुलिस जांच में आरोपी के दो और अपराधों का राज सामने आया है. आरोपी की धोखाधड़ी और बलौदाबाजार हिंसा में संलिप्तता पाई गई है.
क्या है पूरा मामला
दरअसल, बालोद जिला के गुण्डरदेही थाना क्षेत्र अंतर्गत ग्राम पैरी में एक युवक अपने आप को पुलिस बताकर रेड कार्रवाई के नाम पर ग्रामीण से अवैध उगाई करने पहुंचा था. इस बीच ग्रामीणों को जब संदेह हुआ तो उन्होंने युवक को घेर लिया अपने आप को फंसता देख युवक बालोद सिटी थाना प्रभारी को फोन कर यह कहने लगा कि “सर मैं रेड कार्रवाई करने आया हूं यहां कुछ सस्पेक्ट समान मिला है” “जब थाना प्रभारी द्वारा उससे पूछा गया कौन से गांव का मामला है और तुम कौन हो तो युवक स्थान ग्राम पैरी और अपने आप को पुलिस में तो कभी बटालियन में होने की बात करते हुए गोलमोल जवाब देने लगा. जिसे सुनकर थाना प्रभारी को भी संदेह हो गया. इसके बाद टीआई “तुम्हारे सेफ्टी के लिए पुलिस भेज रहे हैं कह कर मोबाइल में उलझाए रखे और तत्काल मौके पर टीम भेज युवक को पकड़कर थाने लाया गया.
इस दौरान जांच में पता चला की बालोद जिला के ग्राम खपरी निवासी आरोपी प्रवीण कुमार महिलांगे (20 वर्ष) चुनाव के दौरान एक कार में सायरन और आगे पीछे पुलिस लिखा स्टीकर लगा अपने आप को पुलिस बताकर वीआईपी ड्यूटी में होने की बात कहते हुए पुलिस यूनिफार्म पहना हुआ अपना फोटो मोबाइल में दिखाया और 3 हजार का पेट्रोल डलवाकर पैसा दिए बैगर वहां से भाग गया था. जिसे लेकर पेट्रोल पंप में काम करने वाले कर्मचारी ने पुलिस थाने में इसकी रिपोर्ट दर्ज कराई.
बलौदाबाजार हिंसा में भी पाई गई संलिप्तता
युवक के मोबाइल की जांच करने पर पुलिस को मोबाइल में कुछ फोटो ग्राफ और वीडियो मिले जो बलौदाबाजार जिले में हुई तोड़फोड़ और आगजनी की घटना से जुड़े पाए गए. इसके बाद बालोद पुलिस ने इसकी जानकारी बलौदाबाजार पुलिस को दी. मामले में अग्रिम कार्रवाई के लिए आरोपी को बलौदाबाजार पुलिस को सौंप दिया गया है.
आपको बता दें कि आरोपी युवक के पिता और उसकी बहन पुलिस विभाग में पदस्थ है. जिनका यूनिफॉर्म पहनकर सरकारी पिस्टल के साथ फोटोग्राफ्स और रील बनाकर आरोपी सोशल मीडिया पर शेयर कर अपने आप को पुलिस बतलाता था. पुलिस गिरफ्तार में आते ही आरोपी के सोशल मीडिया प्लेटफार्म इंस्टाग्राम अकाउंट से यूनिफॉर्म पहने बंदूक लिए एक फोटो को छोड़ सभी फोटो और वीडियो डिलीट कर दिया गया है.
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