पटना। बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के रुझानों में साफ हो गया है कि एनडीए एक बार फिर राज्य में क्लीन स्वीप करती दिख रही है। 243 सीटों के रुझानों के अनुसार NDA 205 सीटों पर आगे है, जबकि महागठबंधन केवल 31 सीटों पर ही बढ़त बनाए हुए है। इस आंकड़े से यह स्पष्ट है कि जनता ने एक बार फिर विकास और स्थिरता के पक्ष में अपना मत दिया है।
सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी
2020 के मुकाबले एनडीए को लगभग 65 से ज्यादा सीटों का फायदा हुआ है, वहीं महागठबंधन को लगभग समान संख्या में सीटों का नुकसान हुआ है। जेडीयू, जो पिछली बार 43 सीटों तक सीमित थी, इस बार 75+ सीटों पर बढ़त के साथ सबसे बड़ी पार्टी बनती दिख रही है। नीतीश कुमार इस जीत के साथ दसवीं बार मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने की ओर बढ़ रहे हैं। वहीं, भाजपा भी 95 सीटों पर बढ़त के साथ राज्य की सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है।
महागठबंधन की स्थिति निराशाजनक रही
महागठबंधन की स्थिति निराशाजनक रही। राजद 26 सीटों पर लीड में है, जबकि कांग्रेस 61 सीटों पर लड़े जाने के बावजूद सिर्फ 4 सीटों पर आगे है। वहीं, प्रशांत किशोर की जनसुराज पार्टी और मुकेश सहनी की पार्टी का खाता अभी तक खुलता नहीं दिख रहा है।
निर्दलीय बढ़त बनाए हुए
बड़े चेहरों की स्थिति पर नजर डालें तो राघोपुर से तेजस्वी यादव पीछे चल रहे हैं, जबकि उनके बड़े भाई तेजप्रताप महुआ से पिछड़ गए हैं। सम्राट चौधरी तारापुर से लीड कर रहे हैं, जबकि पवन सिंह की पत्नी काराकाट से लगातार पीछे चल रही हैं। इसके अलावा निर्दलीय उम्मीदवार 5 सीटों पर बढ़त बनाए हुए हैं। राज्य में इस बार दो चरणों में 67.10% वोटिंग हुई, जो 2020 के मुकाबले करीब 10% अधिक है और वोटिंग का नया रिकॉर्ड है। चुनाव के शुरुआती रुझान एनडीए के लिए उत्साहवर्धक साबित हुए हैं।
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