कुंदन कुमार, पटना. भाजपा के राष्ट्रीय मंत्री ऋतुराज सिन्हा ने जनजाति जनगणना पर तेजस्वी यादव द्वारा दिए गए बयान पर अपनी प्रतिक्रिया दी है. ऋतुराज सिन्हा ने कहा कि, तेजस्वी आपकी राजनीति समाजवाद नहीं जातिवाद के रास्ते परिवारवाद की रोटी सेकने का माध्यम है. ये पूरा देश जानता है.
‘राजद ने राजनीति में सेंकी स्वार्थ की रोटियां’
ऋतुराज सिन्हा ने कहा कि, लालू यादव और उनके परिवार को यह स्मरण कराना आवश्यक है कि जिस ‘समाजवाद’ की दुहाई वे वर्षों से देते आए हैं, वह दरअसल एक विशेष जाति तक सीमित, संकुचित और स्वार्थपूर्ण एजेंडे का दूसरा नाम रहा है. समाजवाद की आड़ में इन्होंने वर्षों तक एक जाति विशेष को साधा और शेष समाज को हाशिये पर डालकर अपने राजनीतिक स्वार्थ की रोटियां सेंकीं.
तेजस्वी ने बताया था राजद की जीत
बता दें की जातीय जनगणना कराने के केंद्र सरकार के इस फैसले पर मीडिया से बात करते हुए तेजस्वी यादव ने इसे राजद की जीत बताते हुए कहा था कि, यह हमारी पुरानी मांग थी. लालू प्रसाद ने 1996 से यह मांग की थी कि देश में जातिगत जनगणना होनी चाहिए. उन्होंने आरोप लगाया कि जब केंद्र में हमारी सरकार थी, तो हमने निर्णय लिया था, लेकिन अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार ने नहीं माना. इसके लिए लालू प्रसाद ने राजभवन मार्च भी किया था.
’24 घंटे में ही हमारी बात मान लिए’
आगे तेजस्वी यादव ने कहा कि, 2018, 2019 और 2023 में बिहार विधानसभा में जातिगत जनगणना को लेकर प्रस्ताव पास हुआ था. इसके बाद हमने पीएम से मुलाकात भी की थी. उनको सुझाव दिया, लेकिन उन्होंने हमारे सुझाव को नकार दिया था. हमने नीतीश कुमार को 72 घंटे का अल्टीमेटम दिया था. हमने कहा था कि अगर इतने घंटे में काम नहीं हुआ, तो आंदोलन करेंगे, लेकिन वो 24 घंटे में ही हमारी बात मान लिए. बिहार में महागठबंधन की सरकार थी, बिहार में जातिगत सर्वे कराया.
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