दिल्ली. दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने दिल्ली सरकार की तरफ से चलाए जा रहे मोहल्ला क्लिनिक की सीबीआई जांच का आदेश दिया है. दरअसल, स्वास्थ्य विभाग की तरफ से मोहल्ला क्लिनिक के फ्री लैब टेस्ट की प्रक्रिया की इनिशियल इम्पैक्ट स्टडी में कई गड़बड़ियां पाई गईं. राज निवास की तरफ से गुरुवार को इसकी जानकारी दी गई.

एक सूत्र ने बताया कि 7 मोहल्ला क्लिनिक पर की गई इम्पैक्ट स्टडी में पता चला कि ये फ्री लेबोरेटरी टेस्ट ऐसे मरीजों को रिकमेंड किए जा रहे हैं, जो हकीकत में हैं ही नहीं. इन्हें ‘घोस्ट पेशेंट’ कहा जाता है.

बीजेपी का आरोप है कि पिछले वर्ष ये पता चला था कि डॉक्टर पहले से रिकॉर्डेड वीडियो के जरिए बायोमेट्रिक अटेंडेंस लगा देते थे और क्लिनिक आते ही नहीं थे. ये भी पता चला था कि उनकी गैर-मौजूदगी में भी टेस्ट और दवाएं प्रिस्क्राइब की जा रही थीं. बाद में

पता चला कि ये टेस्ट नकली पेशेंट्स पर किए जा रहे थे. बीजेपी का ये भी आरोप है कि पिछले वर्ष सितंबर में इन डॉक्टरों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई थी और उन्हें मोहल्ला क्लिनिक के डॉक्टरों की लिस्ट से बाहर कर दिया गया था. दो लैब सर्विस प्रोवाइडर्स से लेकर इन मोहल्ला क्लिनिक में जुलाई से सितंबर के बीच लैब टेस्टिंग डेटा का सैंपल लेकर जांच की गई थी.