रायगढ़. रायगढ़ जिले के ग्राम छोटे भंडार में स्थित रायगढ़ एनर्जी जनरेशन लिमिटेड (आरईजीएल) के व्यावसायिक स्वास्थ्य केन्द्र में आज कोविड- 19 बूस्टर डोज टीकाकरण अभियान का आयोजन किया गया. 30 जुलाई तक चलने वाले इस अभियान में अब तक संयंत्र में कार्यरत 800 से अधिक कर्मचारियों और अधिकारियों को बूस्टर डोज लगाया गया है. डॉ. बी.के. चंद्रवंशी – ब्लाक मेडिकल आफिसर सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, पुसौर के सहयोग से आयोजित इस अभियान के दौरान लोगों को कोविशील्ड एवं कोवैक्सीन के टीके उपलब्ध कराये गए.

  केंद्र सरकार के स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा कोविड – 19 से सुरक्षा के लिए 18 वर्ष से अधिक आयु के नागरिकों को कोविड – 19 वैक्सीन का बूस्टर डोज लगवाना अनिवार्य कर दिया गया है. अतः जारी निर्देशों के पालन हेतु अदाणी पॉवर द्वारा अपने सभी कर्मचारियों और अधिकारियों के लिए बूस्टर डोज का टीकाकरण अभियान शुरू किया गया है. वहीं सभी ने इस अभियान का हिस्सा बनकर कोविड-19 महामारी के प्रति अपनी जवाबदेही, सतर्कता एवं जागरूक नागरिक होने का परिचय दिया है. आरईजीएल प्रबंधन द्वारा वर्तमान में भी कोविड -19 महामारी से बचाव एवं सुरक्षा हेतु संयंत्र परिसर के अंदर कार्यरत प्रत्येक कर्मचारियों एवं श्रमिकों को फेस मास्क, सेनेटाइजर का उपयोग एवं कोविड संबंधी अन्य दिशा निर्देशो का पालन अनिवार्य किया गया है.

 इसके साथ ही कंपनी के सीएसआर कार्यक्रम के अंतर्गत संचालित मोबाइल मेडिकल वैन के टीम द्वारा आस पास के गांवों में कोविड- 19 बूस्टर डोज के टीकाकरण हेतु जागरूकता शिविरों का भी आयोजन कर ग्रामीणों को अधिक से अधिक संख्या में बूस्टर डोज लगवाने हेतु प्रेरित किया जा रहा है.

 आरईजीएल के संयंत्र प्रमुख समीर कुमार मित्रा ने सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के मेडिकल टीम को सकारात्मक पहल एवं सहयोग के लिए धन्यवाद दिया. उक्त कार्यक्रम का सफल संचालन घनश्याम दास गर्ग, एच.आर. हेड एवं व्यावसायिक स्वास्थ्य केन्द्र के डॉ. रवि लावांकर के कुशल मार्गदर्शन में किया जा रहा है. टीकाकरण अभियान में राजेन्द्र गुप्ता, अजय प्रधान, विष्णु पटेल, रिपुदमन पटेल, उमेश कुमार मालाकार, पवन कुमार यादव का सराहनीय योगदान रहा.

 गौरतलब है कि आरईजीएल अपने आसपास के 14 ग्रामों में अपने सामाजिक सरोकारों के अंतर्गत गुणवत्तापूर्ण शिक्षा, स्वास्थ्य, आजीविका संवर्धन और ग्रामीण संरचना विकास के विभिन्न कार्यक्रम संचालित करता है. जिसमें स्वास्थ्य सेवा के लिए समूह के चलित मेडिकल वाहन में उपस्थित MBBS डॉक्टर और प्रशिक्षित मेडिकल टीम द्वारा ग्रामीणों को घर बैठे इलाज और चिकित्सकीय सलाह दी जाती है.