रायपुर. एक जमाने में सरकार की नवरत्न कम्पनियों में शामिल भारत संचार निगम लिमिटेड {बीएसएनएल} दिवालिया होने के कगार पर है. कम्पनी ने खस्ता आर्थिक स्थिति के चलते दिल्ली को छोड़कर पूरे देश में फरवरी माह का वेतन रोक लिया है. इससे देश भर के लाखों अधिकारी और कर्मचारियों का बजट बिगड़ गया है. यह बात छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमेटी के सचिव एवं पूर्व जिलाध्यक्ष अमरजीत चावला ने कहते हुए इस हालात के लिए मोदी सरकार को जिम्मेदार ठहराया है.
चावला ने कहा कि बीएसएनएल की आर्थिक स्थिति तो पहले से ही खराब थी, लेकिन इस बार कम्पनी का राजस्व इतना कम रहा कि बीएसएनएल बोर्ड ने फरवरी माह का वेतन देने से हाथ खड़े कर दिए. इधर जियो समेत अन्य निजी कम्पनियों को आगे बढ़ाने के चक्कर में केंद्र सरकार ने भी बीएसएनएल प्रबंधन को मदद करने से इनकार कर दिया है. केंद्र की मोदी सरकार ने प्राइवेट कंपनी रिलायन्स एवं अदानी अम्बानी को फायदा पहुंचाकर सरकार को घाटे में डाल दिवालिया कर दिया है. लगता है कमीशनखोरी के कारण केंद्र सरकार अपने ही उपक्रम को आगे ना बढ़ाकर प्राइवेट कंपनी जियो को फायदा पहुचाने के उद्देश्य से ऐसा षड्यंत्र कर रही है. जिसको जनता समझ रही है.