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मोसीम तड़वी, बुरहानपुर। प्यार की अनेक प्रचलित कहानियां तो आपने कई सुनी और पढ़ी होगी। वहीं मध्यप्रदेश के बुरहानपुर के शिक्षाविद और स्कूल संचालक की अनोखी प्रेम कहानी लोगों के बीच इन दिनों आकर्षण का केंद्र बनी हुई है। मप्र के ऐतिहासिक शहर बुरहानपुर के शिक्षाविद और मेक्रो विजन स्कूल के संचालक आनंद प्रकाश चौकसे ने अपनी पत्नी मंजूषा चौकसे को ताजमहल नुमा 4 बैडरूम का घर बनाकर तोहफे में दिया है। इस घर की दीवानगी का अंदाजा इसी से लगा सकते हैं कि इसे देखने के लिए देश के साथ विदेशी भी पहुंच रहे हैं।
इस रास्ते से आने-जाने वाले लोगों के लिए घर आकर्षण का केंद्र बना हुआ है। लोग एक बार इस घर को जरूर देखते हैं। घर को देखने के बाद लोग यही बोलते हैं- वाह क्या ताज है।
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आनंद प्रकाश चौकसे के ताज महल जैसा घर बनाने वाले कंसलटिंग इंजीनियर प्रवीण चौकसे ने विस्तार से जानकारी देते हुए बताया आनंद चौकसे ने उन्हें ताज महल जैसा मकान निर्मित करने जैसी कठिन टास्क दी। खुद आनंद चौकसे और उनकी पत्नी मंजूषा चौकसे आगरा के ताज महल को देखने गए। उसका बारिकी से अध्ययन किया। इसके बाद इंजीनियरों को ताज महल जैसा ही घर बनाने को कहा। इंजीनियर प्रवीण चौकसे ने भी आगरा जा कर ताज महल देखा उसकी तकनीक बारिकी क्षेत्र फल का अवलोकन किया। इस बीच वह औरंगाबाद के दौलताबाद में ताजमहल की तरह बने मकबरे को भी देखकर उसके बनाने का अध्ययन किया।
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पहले आनंद चौकसे ने इंजीनियरों को 80 फीट उंचाई पर यूनिक घर बनाने की इच्छा जाहिर की। लेकिन परमिशन नहीं मिलने के चलते उन्होने दो टूक ताज महल जैसा घर बनाने का असाइनमेंट दिया। उन्हें कारण भी बताया गया कि ताज महल नहीं बना सकते इस्लामी मायथॉलॉजी के अनुसार वह मकबरा है। वहीं हिंदू मायथॉलॉजी के अनुसार वह एक तेजु महल है। इन सब तर्कों को दरकिनार करते हुए आनंद चौकसे ने ताज महल जैसा ही घर बनाने को कहा। इंजीनियरों ने इसे चैलेंज के रूप में स्वीकार किया। इंजीनियरों ने इंटरनेट के जरिए ताज महल की 3डी इमेज निकाली तीन साल की अवधि में ताज महल जैसा बना घर वास्तिक ताज महल के क्षेत्रफल की तुलना एक तिहाई क्षेत्रफल वाला है।
ये है अनोखे घर की खुबियां
इंजीनियर प्रवीण चौकसे के अनुसार यह ताज महल जैसा घर का क्षेत्रफल मीनार सहित 90 बाय 90 का है। बेसिक स्ट्रक्चर 60 बाय 60 का है। घर का डोम 29 फीट उंचा रखा गया है। ताजमहल जैसे घर में एक बड़ा हॉल, 2 बेडरूम नीचे, 2 बेडरूम ऊपर है। एक किचन एक लायब्रेरी और एक मेडिटेशन रूम बनाया गया है।
बंगाल और राजस्थान के कारीगरों ने तीन साल में किया तैयार
घर में अधिकतर निर्माण कार्य स्थानीय मिस्रीयों से आरसीसी में कराया गया है। घर के अंदर की गई नक्काशी के लिए बंगाल और इंदौर के कलाकार से मदद ली गई है। घर की फ्लोरिंग राजस्थान के मकराना के कारीगरों से कराई गई है। आगरा के उत्कृष्ट कारीगरों की भी से कराया गया है घर में लगने वाले फर्नीचर का काम सूरत और मुंबई के कारीगरों ने तैयार किया है।
मिल चुका है इंडियन कंस्ट्रक्टिंग अल्ट्राटेक आउट स्टैंडिंग स्ट्रक्चर ऑफ एमपी अवार्ड
ऐतिहासिक आगरा में बने ताज महल का इतिहास बुरहानपुर शहर से है। बुरहानपुर आने वाले देशी विदेशी पर्यटकों को पर्यटन एक्सपर्ट शिक्षाविद आनंद चौकसे के व्दारा ताज महल की तरह बनाए गए घर की जानकारी देते हैं तो देशी-विदेशी पर्यटक इसे देखे बिना नहीं रहते। सीमेंट की नामचीन कंपनी अल्ट्रा टेक ताजमहल जैसे इस घर को इंडियन कंस्ट्रक्टिंग अल्ट्राटेक आउट स्टैंडिंग स्ट्रक्चर ऑफ एमपी का अवार्ड से नवाज चुकी है।
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