CG News: रायपुर/बिलासपुर. तहसीलदारों और नायब तहसीलदारों की हड़ताल का असर अब आम जनता पर साफ नजर आने लगा है. आठ दिनों से कामकाज पूरी तरह ठप है. इसके कारण स्कूल और कॉलेजों में दाखिले के लिए आवश्यक जाति, निवास और आय प्रमाण पत्र नहीं बन पा रहा है. इस संकट को देखते हुए बिलासपुर कलेक्टर संजय अग्रवाल ने जिले के सभी तहसीलों और उप-तहसीलों का प्रशासनिक प्रभार सुपरिंटेंडेंट लैंड रिकॉर्ड (SLR) को सौंप दिया है. छत्तीसगढ़ में तहसीलदार और नायब तहसीलदार अपनी 17 सूत्रीय मांगों को लेकर हड़ताल पर हैं. उनकी मांगों में प्रत्येक तहसील में कुशल ऑपरेटर, कंप्यूटर, प्रिंटर, इंटरनेट, स्थायी वाहन व चालक की व्यवस्था, तकनीकी मानदेय और नायब तहसीलदारों को राजपत्रित अधिकारी का दर्जा जैसी मांगें शामिल हैं. राजधानी में सचिव स्तर की वार्ता विफल रहने के बाद प्रदेशभर में कामकाज पूरी तरह से ठप है. इसके कारण कई जरूरी कार्य प्रभावित हो रहे थे. इसको ध्यान में रखते हुए कलेक्टर संजय अग्रवाल ने वैकल्पिक व्यवस्था के तहत तहसीलदारों की जगह पर एसएलआर यानी सुपरिंटेंडेंट लैंड रिकॉर्ड को जिम्मेदारी सौंपी गई है.


प्रशासनिक और दंडाधिकारी की शक्तियां मिली है
कलेक्टर द्वारा जारी आदेश के अनुसार, एसएलआर अब तहसीलदारों की तरह प्रशासनिक कार्य करेंगे. वे विद्यार्थियों के जाति, निवास और आय प्रमाण पत्र बनाकर छात्रों को राहत पहुंचाएंगे. इसके साथ ही उन्हें कार्यपालिक दंडाधिकारी की शक्तियां भी दी गई हैं, जिससे वे कानून-व्यवस्था से जुड़े मामलों की सुनवाई कर सकेंगे. एसएलआर अब धारा 151, 107, 116 के तहत शांति भंग के मामलों में कार्रवाई कर सकेंगे और मर्ग-पंचनामा की कार्यवाही भी कर पाएंगे.
राजस्व न्यायालय से संबंधित अधिकार नहीं दिया
तहसीलदारों के हड़ताल से काम काज प्रभावित हो रहा है. वैकल्पिक व्यवस्था के तहत एसएलआर को कईअधिकार दिए गए हैं, लेकिन उन्हें राजस्व न्यायालय से संबंधित अधिकार नहीं दिए गए हैं. इसका मतलब है कि नामांतरण, सीमांकन, बटांकन और अन्य राजस्व संबंधी मामलों की सुनवाई वे नहीं कर सकेंगे. यह आदेश सिर्फ आवश्यक प्रशासनिक कार्यों को सुचारु बनाए रखने के लिए जारी किया गया है.
इन्हें मिला तहसील का चार्ज
कलेक्टर ने एक आदेश जारी कर अधीक्षक एवं सहायक अधीक्षक भू-अभिलेख अधिकारियों को विभिन्न तहसीलों और उप-तहसीलों का प्रशासनिक प्रभार सौंपा है. जारी आदेश के अनुसार, पंकज सिंह को सकरी, गनियारी, सकर्रा व तखतपुर, अप्रतिम पाण्डेय को कोटा, बेलगहना व रतनपुर, जवाहर सिंह उरांव को बिल्हा व बोदरी, परमानंद पैकरा को मस्तूरी, सीपत व पचपेड़ी तथा खिलेन्द्र सिंह यादव को बिलासपुर व बेलतरा तहसीलों का प्रभार सौंपा गया है.