राजनादगांव। बस्तर के सिलगेर कांड की आग अब छत्तीसगढ़ के दूसरे इलाक़ों में भी पहुंचने लगी है. राजनांदगांव के मोहला में संसदीय सचिव और कांग्रेस MLA इंद्रशाह जब सरकार की योजना बताने लगे, तो आदिवासियों ने उन्हें सिलगेर पर बोलने के लिए कहा. इतना ही नहीं आदिवासी नेता ने कांग्रेस MLA के हाथ से माइक छीन लिया. आदिवासियों की नाराजगी देख विधायक को भाषण छोड़कर जाना पड़ा.

दरअसल, राजनादगांव जिले के मोहला ब्लॉक मुख्यालय में सर्व आदिवासी समाज द्वारा आयोजित बीजापुर के सिलगेर में हुए मामले को लेकर शासन-प्रशासन की खिलाफत की गई. यहां पुराने बस स्टैंड में आमसभा का आयोजन किया गया. जहां हजारों की संख्या में आदिवासी जुटे रहे.

वहीं क्षेत्रीय विधायक और संसदीय सचिव इन्द्रशाह मंडावी, कांकेर के पूर्व सांसद सोहन पोटाई, पूर्व संसदीय सचिव संजीव शाह समेत समाज के कई बड़े नेता मौजूद रहे. कार्यक्रम के दरमियान बीजापुर के सिलगेर में हुए तथाकथित आदिवासियों के नरसंहार को लेकर शासन-प्रशासन की जमकर खिलाफत की.

दूसरी ओर इस कार्यक्रम के दरमियान क्षेत्रीय विधायक और संसदीय सचिव इन्द्रशाह मंडावी को फजीहत झेलनी पड़ गई. दरअसल विधायक यहां सभा का समर्थन करते हुए पहुंचे थे. सभा मंच के सामने जमीन पर बैठकर सभा में सहभागी बने रहे. लेकिन जैसे ही विधायक इन्द्रशाह मंडावी ने मंच में पहुंचकर भाषण देना शुरू किया.

कुछ देर में एक किसान नेता मंच में पहुंचकर उनसे माइक छिनने की कोशिश की. दोनों के बीच तकरार भरी बातें हुईं और जैसे तैसे विधायक ने अपनी बात खत्म की, लेकिन इसी बीच किसान नेता ने उनके हाथ से आखिरकार माइक को छुड़ाकर खुद पकड़ लिया. वहीं खुद विधायक के खिलाफ भाषण देने लग गए.

यही नहीं एक तरफ विधायक भाषण दे रहे थे. वहीं दूसरी ओर भीड़ के बीच यहां मुख्यमंत्री और विधायक के विरोध में पुतला फूंका गया.  विधायक का विरोध यहीं नहीं थमा. जब विधायक सभा से निकलकर अपने काफिले की तरफ बढ़ रहे थे, तब भीड़ ने उनका घेराव कर दिया. इस बीच धक्कामुक़्क़ी जैसी नौबत भी आ गई. कड़ी मशक्कत के बाद पुलिस जवानों ने विधायक को भीड़ से निकालकर उन्हें उनके वाहन तक पहुंचाया, तब जाकर विधायक यहां से रवाना हो सके.

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