नवरात्रि का पहला दिन, जिसे ‘प्रथमा’ या ‘प्रतिपदा’ के रूप में जाना जाता है, हिंदू धर्म में बड़ी ही महत्वपूर्ण घटना है. यह नौ दिनों तक चलने वाले पावन त्योहार की शुरुआत होती है, जिसमें भगवान दुर्गा की पूजा की जाती है. इस साल नवरात्रि की शुरुआत 9 अप्रैल यानी आज से हो गई है. यह नौ दिनों तक चलने वाले उत्सव में प्रत्येक दिन की अलग महत्वपूर्णता होती है. प्रथमा के दिन को भगवान दुर्गा की आराधना किया जाता है, जो मां शैलपुत्री के रूप में पूजनीय हैं. मां शैलपुत्री का अर्थ है ‘पर्वत रानी’, और वह पर्वतों की रानी के रूप में पूजनीय होती हैं.
प्रतिपदा के दिन, लोग घरों और मंदिरों में भगवान दुर्गा की मूर्ति की पूजा और अर्चना करते हैं. सुबह से ही, लोग मंदिरों में आकर विशेष रूप से प्रात: कालीन पूजा करते हैं. यह दिन माता शैलपुत्री की पूजा और वंदना के साथ बीतता है. Read More – Navjot Singh Sidhu ने सोशल मीडिया में शेयर किया पोस्ट, कैंसर से जूझ रही पत्नी की सेहत को लेकर दी जानकारी …
नवरात्रि के प्रथम दिन को लोग ध्यान और आध्यात्मिकता में भी लगाते हैं. वे माता शैलपुत्री की कथा सुनते हैं और उनका आशीर्वाद प्राप्त करने का आदान-प्रदान करते हैं. इस अवसर पर सभी लोग मिल-जुलकर धर्मिक कार्यों में लगते हैं और प्रसाद का वितरण करते हैं. खासकर, युवा लोग नवरात्रि के प्रारंभिक दिनों में संगीत और नृत्य की विविधता का आनंद लेते हैं. Read More – फिल्मों की असफलता को लेकर Kriti Sanon ने किया खुलासा, कहा – अब कोई फर्क नहीं पड़ता …
नवरात्रि के पहले दिन को धर्म और आध्यात्म की शुरुआत के रूप में मनाने का महत्वपूर्ण संदेश है. यह दिन लोगों को आध्यात्मिकता और प्रेम की ओर दिशा देने का अवसर प्रदान करता है. इस नवरात्रि सभी को मिलकर माता शैलपुत्री की पूजा करना चाहिए और आत्मा की शुद्धि और आत्म-विकास की दिशा में कदम बढ़ाना चाहिए.
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