सुप्रिया पांडे,रायपुर। इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय संघ के 44वें वार्षिक कुलपति सम्मेलन में देश के सभी राज्यों के कुलपति कार्यक्रम में शामिल हुए हैं. यहां पाठ्यक्रम में बदलाव को लेकर विचार संगोष्ठी का आयोजन किया गया. जिसमें पाठ्य क्रम बदलाव को लेकर स्नातक स्तर की शिक्षा पद्धति को आज की परिस्थितियों के अनुसार प्रभावी बदलाव करने पर जोर दिया गया. जिससे समाज और देश की आवश्यकताओं की पूर्ति की जा सके. साथ ही ट्रेनिंग और स्किल डेवलपमेंट को प्राथमिकता दी जाए.
इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. एस.के.पाटिल ने बताया कि लगभग 70 प्रतिशत बच्चे ग्रेजुएशन के बाद पीजी नहीं कर पाते हैं. उन 70 फीसदी बच्चों में ज्यादातर बच्चे रोजगार से वंचित रह जाते हैं. इन बच्चों के भविष्य पर फोकस करने पर चर्चा हुई है. लगभग डेढ़ दिन तक चली चर्चा मे पाठ्यक्रम में बदलाव लाने को लेकर और कमेटी बनाई जाएगी.
कुलपति बताया कि 70 फीसदी बच्चों के भविष्य के हिसाब से सिलेबस बदलना जरूरी है. ट्रेनिंग और स्किल डेवलपमेंट के मुद्दे पर प्राथमिकता दी जाएगी. पांच सालों के अंदर पाठ्य क्रम बदला जाएगा. हर साल इस पर विचार किया जाएगा कि सिलेबस में क्या बदलाव लाया जाए. लगभग 30 राज्यों के कुलपति शामिल हुए, केरल, कर्नाटक, राजस्थान, गुजरात, जैसे राज्यों से यहां कुलपति आए हैं.