रायपुर। भारत सरकार के महारजिस्ट्रार कार्यालय, नई दिल्ली द्वारा वर्ष 2023 में संशोधित ऑनलाइन जन्म-मृत्यु पंजीकरण पोर्टल लॉन्च किए जाने के बाद अब छत्तीसगढ़ राज्य में हर जन्म और मृत्यु का पंजीयन पूरी तरह से डिजिटल माध्यम से किया जा रहा है। राज्य सरकार ने इसे अनिवार्य करते हुए स्पष्ट किया है कि अब सभी जन्म एवं मृत्यु प्रमाण पत्र ऑनलाइन प्रणाली से ही जारी होंगे।

बता दें कि जन्म-मृत्यु पंजीकरण अधिनियम, 1969 में वर्ष 2023 में किए गए संशोधन के तहत अक्टूबर 2023 के बाद जन्म लेने वाले बच्चों की जन्म तिथि प्रमाणित करने के लिए अब केवल जन्म प्रमाण पत्र को ही वैध दस्तावेज माना जाएगा। यानी, अब आधार कार्ड, स्कूल रिकॉर्ड या शपथ पत्र जैसे अन्य दस्तावेज जन्म तिथि के प्रमाण के रूप में स्वीकार नहीं किए जाएंगे।

वहीं, अक्टूबर 2023 से पहले जन्मे बच्चों के मामलों में पूर्व की तरह अन्य वैकल्पिक दस्तावेज भी जन्म तिथि के प्रमाण के रूप में मान्य रहेंगे। राज्य सरकार ने यह भी स्पष्ट किया है कि अप्रैल 2023 से जारी किए गए सभी जन्म प्रमाण पत्र केवल ऑनलाइन पोर्टल से ही जारी किए गए हैं और इन्हीं प्रमाण पत्रों को वैध माना जाएगा।

पुराने प्रमाण पत्र भी होंगे डिजिटल

पूर्व में जिन नागरिकों को मैन्युअल पद्धति से जन्म प्रमाण पत्र जारी किए गए थे, उनके लिए भी अब नया प्रावधान उपलब्ध कराया गया है। ऐसे पुराने प्रमाण पत्रों को अब ऑनलाइन पोर्टल पर डिजिटल स्वरूप में सुरक्षित किया जा सकेगा। इससे भविष्य में प्रमाण पत्रों की सत्यता जांचने और उपयोग करने में सुविधा होगी।

आधार कार्ड के लिए QR कोड अनिवार्यता पर राज्य सरकार सख्त

हाल ही में यह मामला संज्ञान में आया कि कुछ जिलों में केवल उन्हीं जन्म प्रमाण पत्रों के आधार पर आधार कार्ड बनाए जा रहे हैं, जिनमें क्यूआर कोड (QR Code) मौजूद है। इस पर राज्य सरकार ने तत्काल कार्रवाई करते हुए UIDAI हैदराबाद के सहायक प्रबंधक को पत्र भेजा है। सरकार ने अनुरोध किया है कि राज्य के सभी आधार नामांकन केंद्रों को स्पष्ट दिशा-निर्देश जारी किए जाएं ताकि बिना QR कोड वाले वैध प्रमाण पत्रों को भी अस्वीकार न किया जाए।

तकनीकी चुनौतियों का समाधान और प्रशिक्षण पूरा

ऑनलाइन पोर्टल के लॉन्च के प्रारंभिक चरण में कुछ तकनीकी कठिनाइयाँ सामने आई थीं, जिन्हें भारत के महारजिस्ट्रार कार्यालय, नई दिल्ली द्वारा अब पूरी तरह से दूर कर दिया गया है। राज्य के सभी रजिस्ट्रार (जन्म-मृत्यु) को नए पोर्टल के उपयोग और प्रमाण पत्र जारी करने की प्रक्रिया से संबंधित आवश्यक प्रशिक्षण प्रदान किया जा चुका है। इसके साथ ही जिला स्तर पर भी नियमित प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं, जिससे कार्य में पारदर्शिता और दक्षता सुनिश्चित हो सके।

राज्य में प्रक्रिया पूरी तरह ऑनलाइन

अधिकारियों के अनुसार, अप्रैल 2023 से राज्य के सभी जन्म एवं मृत्यु प्रमाण पत्र केवल ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से ही बनाए जा रहे हैं। वर्तमान में यह पोर्टल पूरी तरह तकनीकी रूप से स्थिर और सुचारू रूप से संचालित है। इससे नागरिकों को जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र प्राप्त करने की प्रक्रिया में तेजी और पारदर्शिता आई है।

सरकार का कहना है कि यह कदम डिजिटल गवर्नेंस की दिशा में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है, जिससे नागरिकों को न केवल समय की बचत होगी, बल्कि सरकारी अभिलेखों की सटीकता और विश्वसनीयता भी बढ़ेगी।

Lalluram.Com के व्हाट्सएप चैनल को Follow करना न भूलें.
https://whatsapp.com/channel/0029Va9ikmL6RGJ8hkYEFC2H