संदीप सिंह ठाकुर,लोरमी। छत्तीसगढ़ के मुंगेली जिले में लोरमी पुलिस ने मवेशियों की अवैध तस्करी कर रहे 2 आरोपियों को गिरफ्तार किया है. इनके पास से 16 नग मवेशी भी बरामद हुआ है, लेकिन इसमें मवेशी तस्करों के साथ पुलिस की मिलीभगत का आरोप भी लगा है. क्योंकि एसपी और आईजी से शिकायत के बाद यह कार्रवाई की गई है. इसलिए सवाल उठना भी लाजमी है.

दरअसल साल्हेघोरी के ग्रामीणों ने दो लोगों को गांव के पास नगर रास्ते में 16 मवेशियों के साथ पकड़ा. जिनके पास उक्त मवेशी के संबंध में कोई भी दस्तावेज नहीं मिले. जिसकी सूचना लोरमी के थाना प्रभारी नेल्सन कुजूर सहित अन्य स्टाफ को दी गई, तो टालमटोल करते रहे. जिसके बाद इसकी सूचना मुंगेली जिले के एसपी डी श्रवण समेत बिलासपुर रेंज के आईजी दीपांशु काबरा को दिया गया. जिस पर मुंगेली एसपी के निर्देश के बाद लोरमी पुलिस द्वारा आनन-फानन में पशु क्रुरता अधिनियम 1960 के तहत दोनों आरोपियों के खिलाफ अपराध दर्ज कर जेल भेजने की कार्रवाई की गई. आरोपियों में 40 वर्ष परमानंद साहू और 50 वर्षीय फलित साहू है.

 

गिरफ्तार आरोपी

जनपद सदस्य कुलेश्वर साहू समेत अन्य ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि लोरमी क्षेत्र में बड़ी संख्या में मवेशियों की अवैध तस्करी हो रही है. जिन्हें अचानकमार टाइगर रिजर्व के जंगल के रास्ते से पैदल हांकते हुए छत्तीसगढ़ सीमा पार कराया जाता है. यह खेल खुड़िया चौकी पुलिस स्टाफ सहित लोरमी पुलिस के संरक्षण में खुलेआम बेख़ौफ चल रहा है. इस पूरे मामले में ग्रामीणों ने लोरमी थाना प्रभारी नेल्सन कुजूर समेत अन्य पुलिस स्टाफ को सूचना देने के बाद भी कार्रवाई के नाम पर खानापूर्ति करने का आरोप लगाया है. साथ ही लोरमी थाना प्रभारी के द्वारा सूचना देने वालों को दबाने और तस्करों को बचाने का प्रयास किया जाता है. जिससे पुलिस की मिली भगत उजागर हुई है.

बता दें कि लोरमी क्षेत्र में लगातार मवेशी तस्कर गिरोह के सदस्यों द्वारा अवैध तस्करी की जा रही है. जिसकी सूचना ग्रामीण अक्सर पुलिस स्टाफ को दे रहे थे. इसके बावजूद किसी तरीके से कोई कार्रवाई नहीं की जा रही थी. जिसके चलते मवेशी तस्करों के हौसले बुलंद है.

बहरहाल अब देखना होगा कि आने वाले दिनों में पुलिस के द्वारा सक्रिय मवेशी तस्करी करने वाले बड़े गिरोह पर किस तरह की कार्रवाई की जाएगी. ताकि क्षेत्र में हो रहे मवेशी तस्करी पर अंकुश लग सके.