नक्सल पीड़ितों का दर्द – चार दशकों में बस्तर में नहीं पहुंची मूलभूत सुविधाएं, रात में सोते हैं तो सुबह जिंदा उठने का नहीं रहता भरोसा, नक्सली हिंसा में कई लोग खो चुके हाथ-पैर, कई बच्चे हुए अनाथ, पढ़िए पूरी स्टोरी…