बीजिंग। एक समय में मलेरिया के 3 करोड़ मामले दर्ज करने वाला चीन सत्तर सालों के प्रयास के बाद आखिरकार मलेरिया मुक्त हो गया है. बीते चार सालों से चीन में मलेरिया का एक भी मामला दर्ज नहीं किया गया है. इस सार्थक पहल के बाद अब विश्व स्वास्थ्य संगठन ने चीन के मलेरिया मुक्त होने को प्रमाणित किया है.

चीन में 1940 के दशक में हर साल 3 करोड़ मामले दर्ज किए जा रहे थे, लेकिन इसके बाद सरकार ने कदम उठाते हुए देश को मलेरिया मुक्त करने का काम शुरू किया था. इसका सार्थक परिणाम अब नजर आने लगा है. चीन के मलेरिया मुक्त होने पर डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक टेड्रोस एडनॉम घेब्रेयसस ने चीन के लोगों को मलेरिया से छुटकारा मिलने पर बधाई दी है. उन्होंने कहा कि यह सफलता कड़ी मेहनत से अर्जित की गई है, और दशकों के लक्षित और निरंतर कार्रवाई के बाद ही आई है. इस घोषणा के साथ चीन उन देशों की  श्रेणी में शामिल हो गया है, जो दुनिया को दिखा रहे हैं कि मलेरिया मुक्त भविष्य एक व्यवहारिक लक्ष्य है.

मलेरिया मुक्त देश होने का दर्जा प्राप्त करने वाला चीन दुनिया का 40वां देश है. इसके पहले वर्ष 2021 में अल सल्वाडोर, वर्ष 2019 में अल्जीरिया और अर्जेंटीना और 2018 में पराग्वे और उज्बेकिस्तान ने यह उपलब्धि हासिल की थी. इसके अलावा दुनिया में 61 देश ऐसे भी हैं, जहां मलेरिया कभी मौजूद नहीं था, या विशिष्ट उपायों के बिना गायब हो गया. डब्ल्यूएचओ के पश्चिमी प्रशांत क्षेत्र में चीन पहला देश है, जिसे तीन दशकों से अधिक समय में मलेरिया मुक्त प्रमाण से सम्मानित किया गया है. चीन के पहले ऑस्ट्रेलिया (1981), सिंगापुर (1982) और ब्रुनेई (1987) ने यह उपलब्धि हासिल की है.