रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने असम प्रवास के दौरान गुवाहाटी में छत्तीसगढ़ में विनिर्माण और संबद्ध क्षेत्रों में पूंजी निवेश को बढ़ावा देने के लिए उत्तर पूर्व क्षेत्र के विभिन्न औद्योगिक संगठनों और उद्योगों के प्रतिनिधियों से मुलाकात की. मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ की नई उद्योग और व्यापार अनुकूल नीतियों के कारण राज्य की अर्थव्यवस्था कृषि, लोहा, इस्पात, सीमेंट और थर्मल पावर जैसे संपन्न कोर सेक्टर उद्योगों और छोटे और मध्यम श्रेणी के उद्योगों के प्रारंभ होने के कारण काफी बढ़ी है.
पीएचडी चैम्बर ऑफ कॉमर्स के प्रतिनिधियों ने उत्तर पूर्व क्षेत्र के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक, NERAMAC (उत्तर पूर्वी क्षेत्रीय कृषि विपणन कॉर्पाेरेशन) मनोज कुमार दास और उप निदेशक, पीएचडी चैम्बर उत्तर पूर्व क्षेत्र एस. के. हजारिका के नेतृत्व में मुख्यमंत्री बघेल से मुलाकात की और छत्तीसगढ़ में पूंजी निवेश की संभावनाओं पर विचार-विमर्श किया.
मुलाकात के दौरान आईआईएम कलकत्ता इनोवेशन पार्क इनक्यूबेटर के मुख्य परिचालन अधिकारी प्रांजल कोंवर बताया कि वे पहले से ही 36 आईएनसी (छत्तीसगढ़ राज्य इनक्यूबेटर) के साथ काम कर रहे हैं. ग्रीन वैली राइस टेक प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक आशीष कुमार बजाज ने भी कई क्षेत्रों में छत्तीसगढ़ में निवेश करने में अपनी रुचि दिखाई.
भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) के प्रतिनिधियों ने उत्तर पूर्व परिषद के सह अध्यक्ष अभिजीत बरूआ और सीआईआई के निदेशक शांता सरमा के नेतृत्व में मुख्यमंत्री से मुलाकात की. इस दौरान मुख्यमंत्री बघेल ने छत्तीसगढ़ में उद्योग और व्यापार को बढ़ावा देने की राज्य सरकार की नीति और पूंजी निवेश आकर्षित करने के लिए भविष्य की योजना पर प्रकाश डाला. फेडरेशन ऑफ इंडस्ट्री एण्ड कॉमर्स और नॉर्थ ईस्टर्न रीजन के निदेशक बिस्वजीत हजारिका, भारतीय वाणिज्य एवं उद्योग महासंघ (फिक्की) के प्रतिनिधि और बीएमजी इन्फॉरमेटिक्स के सह-संस्थापक जॉयदीप गुप्ता और मोनोजीत भट्टाचार्जी ने भी गुवाहाटी में मुख्यमंत्री से मुलाकात की.
बघेल ने सभी प्रतिनिधियों के साथ विस्तार से चर्चा की. उन्होंने छत्तीसगढ़ की क्षमताओं, संसाधनों और संभावनाओं पर प्रकाश डाला. बघेल ने अपने संबोधन के दौरान छत्तीसगढ़ नई औद्योगिक नीति 2019-24 की प्रमुख विशेषताओं के बारे में बताया, जो समावेशी आर्थिक विकास पर केंद्रित है. बघेल ने राज्य में निवेश के प्राथमिकता वाले क्षेत्रों जैसे कि खाद्य प्रसंस्करण, इथेनॉल, रत्न और आभूषण, लघु वनोपज आदि के बारे में प्रकाश डाला. उन्होंने छत्तीसगढ़ की भूमि दरों और पट्टे के किराए में राज्य सरकार द्वारा दी गई रियायतों के बारे में भी जानकारी दी. मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ ने पिछले दो सालों में उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए कई प्रगतिशील कदम उठाए हैं, जिससे भारत में सबसे पसंदीदा निवेश स्थलों के रूप में छत्तीसगढ़ भी उभरा है.
बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ के प्राकृतिक संसाधनों में वेल्यू एडीशन और विभिन्न प्रकार के उद्योगों के प्रारंभ होने से विकास की नई संभावनाएं निर्मित हुई है. उद्योग और व्यापार जगत में नवाचार और प्रौद्योगिकी के बढ़ते उपयोग से छत्तीसगढ़ ने भारत में पसंदीदा व्यावसायिक स्थल के रूप में विशेष पहचान बनाई है. बघेल ने निवेशकों को यह भी बताया कि छत्तीसगढ़ में अनुकूल कारोबारी माहौल है. उन्होंने निवेशकों को छत्तीसगढ़ आने और राज्य में व्यापार के अवसरों का पता लगाने के लिए आमंत्रित किया.