शिवम मिश्रा, रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने बस्तर से चिराग परियोजना का शुभारंभ किया. उन्होंने इस परियोजना को बस्तर के लोगों के जीवन में बदलाव लाने वाली अब तक की सबसे बड़ी परियोजना करार दिया. उन्होंने कहा कि 135 करोड़ की परियोजना बस्तर और सरगुजा संभाग समेत प्रदेश के 14 जिलों के आदिवासी क्षेत्रो में विकास की नई रोशनी फैलाएगी.
कार्यक्रम में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के साथ कृषि मंत्री रविंद्र चौबे, प्रभारी मंत्री कवासी लखमा, सांसद दीपक बैज समेत प्राधिकरण और संघटन के पदाधिकारी मौजूद थे. मुख्यमंत्री ने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि हमने कुपोषण के खिलाफ लड़ाई में बच्चों को गरम भोजन देने के साथ दंतेवाड़ा से शुरू की थी. आज इस अभियान से छ्त्तीसगढ़ में बच्चों के कुपोषित में 32 फीसदी कमी आई है. इसी प्रकार से 80 हजार माताएं, बेटी और बहनें एनीमिया से मुक्त हुए. हमने मलेरिया मुक्त बस्तर का अभियान चलाया है.
उन्होंने कहा कि एक समय लोग चर्चा करते थे कि नक्सली हिंसा से लोगों की मौत हुई या मच्छरों के आतंक से, इस अभियान से बस्तर में 45 फीसदी की कमी आई है. बस्तर में हमने तीसरी योजना मुख्यमंत्री हॉट बाजार क्लिनिक योजना की शुरुआत की है. मुझे आज भी वह दिन याद है, जब बस्तर में उल्टी-दस्त और अन्य बीमारियों से सैकड़ों हजारों लोग प्रभावित होते थे, और उनकी मौत हो जाती है. लेकिन पिछले 3 सालों में बस्तर में कोई भी व्यक्ति ऐसा प्रभावित नहीं हुआ है.
इस अवसर पर लगाए गए कृषि मेले का मंत्रियों के साथ भ्रमण करते हुए अलग-अलग स्टाल में प्रदर्शित चीजों की जानकारी हासिल की.