जांजगीर-चांपा. जिले के पिहरीद गांव में 10 जून से 60 फीट गहरे बोरवेल में फंसे राहुल साहू 5 दिनों तक जिंदगी और मौत से लड़ते हुए आखिरकार सुरक्षित बाहर निकला. राहुल को बचाने भूपेश सरकार ने पूरी ताकत झोंक दी थी. सीएम भूपेश बघेल खुद लगातार माॅनिटरिंग कर रहे थे. शासन-प्रशासन व रेस्क्यू की टीम लगातार जुटी रही. NDRF टीम व भारतीय सेना के जवानों ने मोर्चा संभाला था.
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निर्देश पर 3 जिलों के प्रशासनिक और पुलिस अधिकारी मौके पर डटे रहे. राहुल को बचाने जांजगीर कलेक्टर जितेंद्र शुक्ला, एसपी विजय अग्रवाल के साथ 4 आईएएस, 2 आईपीएस, 1 एएसपी, 2 डिप्टी कलेक्टर, 5 तहसीलदार, 4 डीएसपी और 8 इंस्पेक्टर समेत रायगढ़, दुर्ग, बिलासपुर से भी बचाव दल जी जान से लगा रहा.
सीएम को कलेक्टर ने दी जानकारी, देखें वीडियो..
गुजरात से बुलाई गई थी रोबोट टीम
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने निर्देश दिए थे कि राहुल को सकुशल निकालने की हर संभव कोशिश करें. मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद राहुल को बचाने प्रशासनिक और पुलिस महकमा घटना स्थल से हिला तक नहीं. सलाह पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सूरत के रोबेट विशेषज्ञ से संपर्क करने अधिकारियों को निर्देश दिए थे, जिसके बाद वहां से भी टीम आई थी पर रोबोट कार्य में कामयाबी नहीं मिल पाई.
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