भोपाल। मध्यप्रदेश के श्योपुर स्थित कूनो नेशनल पार्क में लगातार हो रही चीतों की मौत से वन विभाग में हड़कंप मचा हुआ है. पीसीसीएफ भी बदल दिया गया है. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि चीता पुनर्वास प्रोजेक्ट में कूनो राष्ट्रीय उद्यान में लाए गए चीतों में से कुछ चीतों की मृत्यु, चिंता का विषय है. उनके स्वास्थ्य और देखभाल के लिए केन्द्र सरकार द्वारा गठित चीता टास्क फोर्स को राज्य शासन की ओर से हरसंभव सहयोग प्रदान किया जाए.
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि क्षेत्र में पर्याप्त वन्य-प्राणी चिकित्सकों सहित सभी आवश्यक दवाओं और उपकरणों की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए. साथ ही चीतों की स्थिति की नियमित समीक्षा की व्यवस्था हो. आवश्यकता होने पर फॉरेस्ट गार्ड की संख्या और पुनर्वास प्रोजेक्ट के लिए उपलब्ध क्षेत्र में वृद्धि की जाए.
दरअसल मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने मंत्रालय में चीता पुनर्वास प्रोजेक्ट की समीक्षा बैठक की. जिसमें वन मंत्री कुंवर विजय शाह वर्चुअली शामिल हुए. मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस, अपर मुख्य सचिव वन जे.एन. कंसोटिया और वन विभाग के अधिकारी उपस्थित थे.
उल्लेखनीय है कि चीता परियोजना का क्रियान्वयन केन्द्र सरकार द्वारा गठित चीता टास्क फोर्स के निर्णयों के अनुसार किया जाता है. कूनो राष्ट्रीय उद्यान में नामीबिया से 8 और दक्षिण अफ्रीका से 12 इस प्रकार कुल 20 चीते लाए गए थे. बाद में तीन शावक ने जन्म लिया. जिनकी मौत हो गई है. वर्तमान में 10 चीते खुले जंगल में विचरण कर रहे हैं और 5 चीतों को बाड़ों में रखा गया है. सभी चीतों की 24 घंटे मॉनीटरिंग की जा रही है. भारतीय वन्य जीवन संस्थान, देहरादून का एक शोध दल पूर्णकालिक रूप से परियोजना के क्रियान्वयन के लिए पालपुर में मौजूद है.
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