रोहित कश्यप, मुंगेली. जिले के नव पदस्थ कलेक्टर डॉ सर्वेश्वर नरेंद्र भूरे के उस आदेश से जिला अधिकारियों में हड़कंप मचा हुआ है, जिसमें यह कहा गया है कि जिला स्तर के अधिकारी जिला मुख्यालय में ही रहे और 25 फरवरी तक इसका प्रमाण पत्र कार्यालय के समक्ष प्रस्तुत करें. आदेश में यह भी कहा है कि अवहेलना करने वाले अधिकारियों पर कार्यवाही की जाएगी.
दरअसल, मुंगेली जिले के अधिकतर विभागों के जिलाधिकारी मुख्यालय से बाहर रहते हैं, जिसके चलते कामकाज प्रभावित होता है. इसे संज्ञान में लेते हुए कलेक्टर डॉ सर्वेश्वर नरेंद्र भूरे ने हाल ही में इस आशय पर एक आदेश जारी किया है. जारी आदेश में कहा गया है कि शासन की योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन हेतु जिला स्तरीय अधिकारियों एवं मैदानी अमले को मुख्यालय में रहने के निर्देश है. इस संबंध में शासन द्वारा समय-समय पर निर्देश भी जारी किए जाते रहे हैं.
अतः समस्त जिला अधिकारियों को आदेशित किया जाता है कि वे अपने मुख्यालय में निवास करने संबंधी प्रमाण पत्र या दस्तावेज अनिवार्य रूप से इस कार्यालय को 25 फरवरी 2019 तक प्रस्तुत कर मुख्यालय में ही उपस्थित रहे. मुख्यालय में निवास नहीं करना छत्तीसगढ़ सिविल सेवा आचरण नियम 1965 के विपरीत है..अतः इस कृत्य को कर्तव्य के प्रति निष्ठावान नहीं होना एवं उच्च अधिकारियों के निर्देशों के पालन में कोताही मानते हुए मुख्यालय से एकतरफा भार मुक्त किया जाएगा जिसकी संपूर्ण जवाबदारी संबंधित की होगी.
कलेक्टर कार्यालय से जारी इस आदेश के बाद से अधिकारियों की नींद उड़ गई है. क्योंकि अधिकतर अधिकारी बिलासपुर व अन्य जगहों से आना-जाना करते हैं, जिससे सरकारी वाहनों का भी दुरुपयोग होता है. तत्कालीन कलेक्टरों के द्वारा इस संबंध में आदेश जारी करने के बाद भी व्यवस्था में कोई बदलाव नहीं हुआ. यही वजह है कि इस बार व्यवस्था को दुरुस्थ करने नवपदस्थ कलेक्टर ने इस आदेश को कड़ाई से पालन करने कहा है.