15 फरवरी को नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर हुई भगदड़ को लेकर एक उच्चस्तरीय कमेटी ने जांच शुरू की है. अधिकारियों ने घटना की रात स्टेशन पर तैनात सभी कर्मचारियों और अधिकारियों की सूची प्राप्त की है. रेलवे अधिकारियों ने दिल्ली पुलिस से पत्र लिखकर मृतकों की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट और घायलों की मेडिकल रिपोर्ट मांगी है.

सूत्रों ने बताया कि रेलवे बोर्ड ने इस मामले में एक उच्च स्तरीय समिति बनाया है जो जल्दी से जांच कर अपनी रिपोर्ट बनाएगी. रेलवे बोर्ड द्वारा गठित एक उच्च स्तरीय समिति ने घटना के अगले ही दिन स्थानीय निरीक्षण किया और हादसे के तुरंत बाद 203 सीसीटीवी फुटेज को आरपीएफ ने फ्रीज कराया था.

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इस मामले में स्टेशन पर तैनात विभिन्न विभागों से कर्मचारियों की सूची मांगी गई थी, जिसमें ऑपरेशन, कमर्शियल, टीटीई, वेंडर, पुलिसकर्मी, आरपीएफ जवान और अन्य जवान शामिल हैं. 250 से अधिक लोगों की सूची अधिकारियों को दी गई है और जल्द ही जांच समिति को उनके बयान दिए जाएंगे.

सूत्रों ने बताया कि जांच समिति ने दुर्घटना में घायल लोगों के बयान भी दर्ज करेंगे, जिससे घटना की सच्चाई पता चलेगी. इन बयानों का मिलान स्टेशन पर मौजूद दस्तावेजों और सीसीटीवी फुटेजों से भी किया जाएगा. बाद में अंतिम रिपोर्ट बनाई जाएगी, जिसमें हादसे के असली कारणों का पता चलेगा. यह रिपोर्ट सीधे रेल मंत्रालय को दी जाएगी, जिसके बाद पूरे घटनाक्रम में किसकी लापरवाही का पता चलेगा.

घटनास्थल के सूत्रों ने बताया कि सीसीटीवी फुटेज को फ्रीज करने के दौरान फुटओवर ब्रिज पर काफी भीड़ दिख रही थी, जिससे चलना मुश्किल हो रहा था. वहीं, प्लेटफॉर्म संख्या 14-15 के ऊपरी भाग में लगे CCTV कैमरे से लगभग 8 सीढ़ियां दिख रही थीं, जबकि नीचे वाले कैमरे से लगभग 10 सीढ़ियां दिख रही थी. इनके बीच में यह हादसा हुआ है.