रायपुर। भाजपा के नेता पुनिया के बयान पर आपत्ति करने के पहले यह तो बताएं कि वे गोडसे को बुरा मानते हैं या मोदी जी को बुरा मानते है? अगर गोडसे को बुरा मानते हो तो भाजपा के नेता पहले गोडसे मुर्दाबाद का नारा लगाएं. यह बात कांग्रेस महामंत्री और संचार विभाग अध्यक्ष शैलेष नितिन त्रिवेदी ने पत्रकारों से चर्चा में कही.

शैलेष नितिन त्रिवेदी ने कहा कि भाजपा के सांसद साध्वी प्रज्ञा और साक्षी महाराज जैसे नेता गोडसे को देशभक्त कहते हैं फिर भाजपा नेताओं को पुनिया के गोडसे और मोदी के संबंध में दृष्टांत देने पर किस बात पर आपत्ति क्यों है? भाजपा नेताओं ने इस टिप्पणी को अभद्र मान मानते हुए विरोध प्रदर्शन करने की घोषणा की है, जो उनका अधिकार है. इसमें जो बड़ी बात उभर के सामने आ रही है कि गोडसे को देशभक्त कहने वालों की पार्टी ने अंततः गोडसे कहे जाने को अभद्र मानकर वास्तविकता को स्वीकार कर लिया है.

पत्रकार वार्ता में उन्होंने कांग्रेस प्रवक्ता जयवीर शेरगिल को धमकी दिये जाने की निंदा करते हुए कहा कि करंट लगाने और गोली मारने वाले अब दुष्कर्म और हत्या की धमकियां देने पर उतर आए हैं. शेरगिल ने पुलवामा के शहीदों के परिवारजनों के साथ न्याय की बात उठाई है. 14 फरवरी को एआईसीसी के मुख्यालय में पत्रकारवार्ता कर पुलवामा मामले में मोदी सरकार के दोहरे चरित्र को उजागर करते हुये सवाल खड़े किये जो धमकी देने वालों को नागवार गुजरा है.