रायपुर. वरिष्ठ कांग्रेस नेता एवं पूर्व मंत्री मोहम्मद अकबर ने वेदांता कैंसर अस्पताल विवाद को लेकर नया खुलासा करते हुए कहा है कि राज्य सरकार अपने कार्यकाल के अंतिम समय में पुरानी गलती को सुधारने की कोशिश में है लेकिन फिर भी मामले से जुड़ी सरकार की विवादास्पद भूमिका सामने आ गई है.

एक बयान में अकबर ने कहा कि वेदांता कैंसर अस्पताल के लिए सरकार ने मात्र एक रूपए के टोकन शुल्क पर 50 एकड़ जमीन देने का फैसला किया था लेकिन सरकार के ही वित्त विभाग ने इस आवंटन पर सहमति नहीं दी थी. पहले किये गये एमओयू में अस्पताल के लिए एक रूपया टोकन मनी दर पर जमीन इस आधार पर देने की बात कही गई थी कि अस्पताल चैरिटी यानि धमार्थ काम करेगा. यहां गरीबों का मुफ्त में इलाज किया जाएगा लेकिन बाद में वेदांता ने एमओयू में लिखी शर्तों को मानने से इनकार कर दिया. अस्पताल को सुपर स्पेशियालिटी बना दिया गया है. अब यहां हर मरीज का इलाज व्यावसायिक दरों पर किया जाएगा.

राज्य सरकार पर गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए कांग्रेस नेता ने कहा कि राज्य सरकार ने मामले में पहले ही यह गलती जानबूझकर की, कि वेदांता को मात्र एक रूपया टोकन शुल्क में जमीन देने का आदेश जारी किया. जबकि सरकार के ही  वित्त विभाग ने इस दर पर आवंटन पर सहमति नहीं दी थी. अब मुख्यमंत्री व उनकी सरकार के आखिरी कार्यकाल का अंतिम समय आने पर सरकार अपनी इस गलती को सुधारने व छिपाने का प्रयास कर रही है लेकिन यह बात अब किसी से छिपी नहीं है कि सरकार की रुचि छत्तीसगढ़ के गरीबों को मुफ्त में कैंसर का इलाज देने में नहीं बल्कि एक बड़े औद्योगिक घराने को मुफ्त में जमीन देने में अधिक थी.

अब प्रीमियम रेट पर भुगतान

अकबर ने बताया कि राज्य सरकार के आदेश पर अब वेदांता से अस्पताल के लिए आवंटित की गई जमीन की कीमत बाजार मूल्य के हिसाब से ली जा रही है. नया रायपुर में हेल्थ सेक्टर के लिए जमीन की दर 160 रुपए प्रति वर्गफुट निर्धारित है. मोहम्मद अकबर ने कहा कि इस पूरे मामले से साफ हुआ है कि राज्य सरकार  वेदांता उद्योग समूह को उपकृत करने के प्रयास में पहले भी थी, अभी भी है. अकबर ने  कहा कि गलती सुधारने के बाद सरकार अब प्रीमियम रेट पर उसी वेदांता को 50 एकड़ जमीन दे रही है, सरकार ने एमओयू करते समय ही यह दर क्यों लागू नहीं किया था. जबकि हेल्थ सेक्टर में जिन अन्य संस्थानों को जमीन दी जा रही है उनसे पहले ही प्रीमियम रेट वसूला जा रहा है.  रविवार को मुख्यमंत्री डा.रमन सिंह ने इस विवादित अस्पताल का लोकार्पण भी किया. वे यह बात भी भली- भांति जानते हैं कि गरीबों की जमीन पर बसे नया रायपुर के इस कैंसर अस्पताल में गरीबों को इलाज नहीं मिलने वाला है.