एक किशोरी से दुष्कर्म के आरोपी दो युवकों को भीड़ ने रस्सी से बांधकर आग के हवाले कर दिया. इस घटना में बुरी तरह झुलसे एक युवक की रिम्स में गुरुवार को मौत हो गई जबकि दूसरे का इलाज जारी है. ये पूरा मामला झारखंड के गुमला जिला मुख्यालय से करीब 20 किमी दूर बसुआ अंबाटोली गांव का है.

 घटना के बारे में बताया जाता है कि लड़की अपने माता-पिता के साथ शाम के समय टोटो में बस का इंतजार कर रही थी. उसी समय मोटरसाइकिल से आशीष उरांव और सुनील उरांव वहां पहुंचे. आशीष का गांव लड़की के गांव के पड़ोस में है. उसने लड़की के माता-पिता से कहा कि वे उसे उनके साथ भेज दें.

 आरोपियों के झांसे में आ गया लड़की का पिता

लड़की के पिता ने यह सोचकर कि वह जल्द घर पहुंचकर मवेशियों और अन्य सामान की देखरेख करेगी, उसे भेज दिया. आरोप है कि रास्ते में दोनों युवकों ने लड़की के साथ सामूहिक दुष्कर्म किया. माता-पिता जब घर पहुंचे तो वह नहीं मिली. थोड़ी देर बाद रोते हुए वह घर पहुंची और अपने साथ हुई घटना की जानकारी दी.

 माता-पिता ने अन्य गांववालों को घटना के बारे में बताया. इसके बाद ग्रामीण गोलबंद होकर पास के गांव पोकोटोली पहुंचे. वहां उन्हें आशीष और सुनील मिल गए. गांव में पंचायती के नाम पर दोनों को मोटरसाइकिल समेत अंबाटोली लाया गया. वहां दोनों के हाथ-पैर बांधकर भीड़ ने लाठी-डंडे से उन्हें पीटा. जब वे बेसुध हो गए तो दोनों को एक साथ एक रस्सी में बांध कर पेट्रोल छिड़क आग लगा दिया.

एक आरोपी की हालत गंभीर

भीड़ ने दोनों की मोटरसाइकिल को भी आग के हवाले कर दिया. आग से रस्सी जल जाने पर सुनील उरांव जलते हुए ही अपने गांव बसुआ बरहा टोली जबकि आशीष अपने गांव पोकोटोली पहुंचा. तत्काल दोनों युवकों के परिजन अन्य ग्रामीणों के सहयोग से रात में उन्हें सदर अस्पताल गुमला ले गए. वहां उनकी गंभीर स्थिति को देखते हुए चिकित्सकों ने उन्हें रिम्स रेफर कर दिया. रिम्स में इलाज के क्रम में सुनील की भोर में मौत हो गई जबकि आशीष की स्थिति चिंताजनक बनी हुई है.