बिलासपुर। बिलासपुर पुलिस और बिलासपुर की जनता ने मिलकर साइबर सुरक्षा का विश्व कीर्तिमान रच डाला है. 8 सितंबर की सुबह 7 बजे से बिलासपुर पुलिस ने शहवासियों साइबर सुरक्षा का संकल्प पत्र भरवाना शुरू किया. चंद घंटों में लाख लोगों ने संकल्प पत्र भर डाला कि अब से न तो वे कभी साइबर फ्रॉड के शिकार होने और न ही अपने से जुड़े किसी व्यक्ति को इसका शिकार होने देंगे.

साइबर मितान अभियान की घोषणा 22 अगस्त को एसपी प्रशांत अग्रवाल ने की. इस दौरान साइबर जागरूकता पर बनी शार्ट फिल्मों का टीजर भी जारी किया गया. इसके साथ ही 4 चरणों में यह अभियान बांट दिया गया. पहले चरण में 22 से 25 अगस्त तक टीमें बनाने के साथ विस्तृत योजना बनाई गई. अभियान के लिए शार्ट अवेयरनेस मूवीज़, पोस्टर्स, ट्रेनिंग मटेरियल इत्यादि तैयार किया गया.

दूसरे चरण में 25 से 30 अगस्त के बीच इन सभी को ट्रेनिंग दी गई. जिसमें बताया गया कि साइबर क्राइम किस किस तरह के होते हैं और इनसे कैसे बचना है. इसी बीच तीसरे चरण की शुरुआत की गई. 25 अगस्त से 31 अगस्त के बीच प्रचार-प्रसार का काम शुरू कर दिया गया. इस दौरान साइबर लीडर्स और साइबर रक्षक तैयार किए गए. जिसमें पुलिस स्टाफ, एसपीओ व कई सामाजिक संगठन के लोग शामिल हुए.

साइबर रक्षक चौथे चरण के दौरान 1 सितम्बर से 7 सितम्बर तक दिन-रात एक करके केवल लोगों को जागरूक करते रहे और उन्हें बताते रहे कि उन्हें किस तरह से साइबर अपराध से बचना है. इन साइबर रक्षकों को उनकी जिम्मेदारी का क्षेत्र बांटा गया. जिसके बाद 8 सितम्बर की सुबह इस महाअभियान में शामिल हुए लोगों ने संकल्प पत्र भरकर साइबर क्राइम से बिलासपुर को मुक्त करने का वादा किया.

कैसे एक-एक व्यक्ति तक पहुंचे साइबर मितान

इस अभियान में पुलिस, एसपीओ, सामाजिक संगठन इत्यादि से साइबर मितान बनाए गए, जिन्होंने साइबर रक्षक तैयार किए. ये रक्षक अपने अधीन 25-25 साइबर मितान बनाया. इसके बाद सरकारी दफ्तरों, कॉलेज-कोचिंग, जिम, शॉपिंग मॉल, बाजार, होटल-रेस्टोरेंट, कॉलोनी, अपार्टमेंट, टोलप्लाजा, पेट्रोल पंप, वार्ड पार्षद-सरपंच, समितियां इत्यादि से सम्पर्क करके उन्हें जागरूक करके इनके जरिए हर एक व्यक्ति तक अभियान पहुंचाया गया, तब जाकर जिले का तकरीबन हर एक घर, हर एक वार्ड, हर एक गांव साइबर अपराध को लेकर अवेयर हो सका.