दिल्ली. लीबिया में खस्ताहाल सड़कों से जिंदगी को जितना खतरा है उतना बंदूकों से नहीं। यहां आए दिन होने वाली सड़क दुर्घटनाओं में जितने लोग मारे गए हैं उतने देश में कुछ वर्ष पूर्व हुए संघर्ष के दौरान भी नहीं मारे गए।

लीबिया में यातायात नियमों की अवहेलना, खस्ताहाल आधारभूत संरचना और कारों का सुरक्षा मानकों को पूरा करने में विफल रहना कुछ ऐसे कारण हैं जो लीबिया में सड़क दुर्घटनाओं को हथियार से होने वाले गुनाहों से अधिक खतरनाक बना रहे हैं।मध्य त्रिपोली स्थित सार्वजनिक पार्क, ‘तारिक अल-सिक्का’ में सैकड़ों कारों के मलबे का विशाल ढेर दर्शाता है कि यहां कितने हादसे हुए हैं।

कई कारों पर अब भी खून के निशान हैं और कुछ के अंदर अब भी कपड़े और जूतें पड़े हैं।गृह मंत्रालय के यातायात विभाग के अनुसार 2018 में देशभर में 4,115 सड़क हादसे हुए, जिसमें 2,500 लोग मारे गए और 3,000 से अधिक लोग घायल हुए।विभाग के प्रवक्ता कर्नल अब्देलनासर ऐलाफी ने कहा, ‘प्रति व्यक्ति जानलेवा सड़क दुर्घटनाओं के मामले में लीबिया सबसे ऊपर है।’