पुरषोत्तम पात्र, गरियाबंद. 28 जुलाई की रात कथावाचक पंडित युवराज पांडेय के साथ ओड़िशा के काशीबहाल के कुछ लोगों ने रास्ता रोककर बदसूलकी की थी. जिसके लिए गांव से एक प्रतिनिधि मंडल शनिवार की रात पंडित युवराज पांडेय के गृहग्राम अमलीपदर पहुंचा हुआ था. प्रतिनिधि मंडल में काशीबहाल के पार्षद परक्षित महानन्द और प्रवीण कुमार पण्डा समेत कुल 4 लोगों का प्रतिनिधिमंडल पहुंचा था. जिन्होंने उस रात हुई घटना के लिए खेद प्रकट करते हुए पंडित युवराज को श्रीफल भेंटकर उनके चरण स्पर्श कर माफी मांगी.

प्रतिनिधि मंडल ने कहा कि कालाहांडी में चोरी की वारदात बढ़ गई है. इलाके का माहौल खराब है. इसलिए अनजाने में यह घटना घटित हुई है. प्रतिनिधि मंडल ने कथावाचक को गांव आने का भी न्यौता दिया है. ग्रामीणों की इस पहल को कथावाचक ने सहजता से स्वीकार किया. पंडित युवराज ने प्रतिनिधि मंडल के अलावा सीजी पुलिस का समाधान के लिए आभार व्यक्त किया है. उन्होंने सारे घटनाक्रम के पीछे ऊपर वाले कि इच्छा बताई. उन्होंने कहा कि हो सकता है उनकी ख्याति ओड़िशा में भी हो इसलिए यह घटना घटित हुई है. अब इस मामले के लिए मन मे किसी प्रकार की टीस नहीं होना बताया. अपने समस्त अनुयायी, भक्तों से भी पंडित युवराज ने शांति व्यवस्था बनाए रखने की अपील की. प्रतिनिधीमडंल में धर्मगढ़ थाने के उपनिरक्षक अमल सरदार, पत्रकार इंगित पण्डा, अंशुमन पात्र शामिल थे. इस मौके पर देवभोग थाना प्रभारी बोधन लाल साहू, एएसआई के एल महिलांग, आरक्षक राहुल तिवारी के अलावा अमलीपदर पुलिस भी मौजूद थी. माफीनामे के बाद पंडित युवराज ने समस्त अतिथितियों को श्रीफल देकर विदा किया. वहीं मौजूद समर्थकों की भीड़ ने इस पल को यादगार बनाने जम कर आतिशबाजी कर भगवान जगन्नाथ के जयकारे लगाए.

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घटना के बाद 7 जिले के समर्थकों ने 19 थाने में सौपा था ज्ञापन-

कथावाचक अपने एक सहयोगी के साथ दुपहिया में पुरी के लिए निकले हुए थे, तब यह घटना घटित हुई थी. लेकिन अब इस मामले में पुलिस ने आपसी सुलह करा लिया है. घटना के बाद कथावाचक के अनुयायी और भक्त छतीसगढ़ के दुर्ग, बालोद,जगदलपुर, राजनांदगांव, बलौदाबाजार समेत 7 जिले में 19 थानों में ज्ञापन सौंप अपने आचार्य के खिलाफ दुर्व्यवहार करने वालों पर कार्रवाई की मांग की थी. मामले में प्रदेश के गृहमंत्री से लेकर पीएम तक के ज्ञापन भेजा गया था. कार्रवाई में विलंब होते देख ज्ञापनों की संख्या ने पुलिस की नींद उड़ा दी थी. हालांकि इस मामले को कथावाचक युवराज पांडेय तूल देना नहीं चाह रहे थे. बावजूद उनके अनुयायीयों और भक्तों का गुस्सा शांत नहीं हो रहा था.

पुलिस ने सामांजस्य स्थापित कर निकाला हल

मामला लगातार तूल पकड़ रहा था. पुलिस कार्रवाई की तैयारी के अलावा समाधान का भी रास्ता ढूंढ रही थी. गरियाबंद एसपी जेआर ठाकुर के निर्देश पर देवभोग थाना प्रभारी लगातार धर्मगढ़ पुलिस से जाकर मिलते रहे. कालाहांडी की ओर से धर्मगढ़ SDOP धीरज चोपदार मोर्चा संभाले हुए थे. चोपदार ने अपने सूझ बूझ से गरियाबन्द पुलिस के साथ सामांजस्य स्थापित कर मामले का हल खोज निकाला. शांति कायम रखने के लिए पुलिस LALLURAM.COM की भी भूमिका की भी सराहना पुलिस ने की है. SDOP धीरज चोपदार ने कहा कि जिनका अपमान किया गया था, उनका सम्मान वापस करना हम सबकी जिम्मेदारी थी. ऐसी घटना की पुनरावृति ना हो उसके लिए विशेष हिदायतें दी जा रही है. हमारी पेट्रोलिंग पार्टी का दायरा भी बढ़ा दिया गया है.

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