नई दिल्ली। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने केंद्रीय बजट 2022-23 को ‘निराशाजनक’ करार देते हुए कहा कि कोविड-19 के बीच बढ़ती महंगाई से प्रभावित आम जनता के बोझ को कम करने के लिए इसमें कुछ भी नहीं है. केजरीवाल ने ट्विटर पर हिंदी में पोस्ट किया, “कोविड के समय में लोगों को केंद्रीय बजट से बहुत उम्मीदें थीं. इसने जनता को निराश किया है. बजट में आम लोगों के लिए कुछ भी नहीं है. इसमें महंगाई को कम करने के लिए कुछ भी नहीं है.”

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केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज सुबह केंद्रीय बजट पेश किया है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बजट की सराहना करते हुए कहा कि यह ‘अधिक निवेश, अधिक बुनियादी ढांचे, अधिक विकास’ के माध्यम से सभी को लाभान्वित करेगा, लेकिन कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने ‘वेतनभोगी और मध्यम वर्ग, गरीब और वंचितों, युवा, किसान और एमएसएमई’ के लिए प्रावधानों की कमी के लिए केंद्र सरकार पर निशाना साधा.

 

राहुल गांधी ने बजट को लेकर मोदी सरकार पर निशाना साधा, कहा यह ‘जीरो बजट’

केंद्रीय बजट पेश किए जाने के बाद कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा है कि केंद्र सरकार का यह बजट जीरो बजट है. राहुल गांधी ने ट्वीट किया, ” मोदी सरकार का जीरो बजट!” उन्होंने आगे कहा, “वेतनभोगी वर्ग, मध्यम वर्ग, गरीब और वंचित, युवा, किसान और एमएसएमई के लिए कुछ नहीं.” इससे पहले, कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा, “भारत का वेतनभोगी वर्ग और मध्यम वर्ग महामारी के समय में राहत की उम्मीद कर रहा था. एफएम (फाइनेंस मिनिस्टर) और पीएम मोदी ने उन्हें प्रत्यक्ष कर उपायों में फिर से निराश किया है. यह भारत के वेतनभोगी वर्ग और मध्यम वर्ग के साथ विश्वासघात है.”

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हालांकि, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने करदाताओं को कुछ राहत देते हुए घोषणा की कि अब 2 साल के भीतर अपडेट आयकर रिटर्न दाखिल किया जा सकता है, लेकिन टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं किया गया. कांग्रेस नेता गौरव गोगोई ने कहा, “बजट ने पीएम मोदी के बड़े व्यापारिक मित्रों के हितों पर ध्यान केंद्रित किया है. इसने बेरोजगारी और महंगाई की समस्याओं को नहीं सुलझाया है. यह बजट केवल असमानता को बढ़ाएगा.”