नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस के जवानों ने यमुना नदी में कूदकर आत्महत्या करने की कोशिश करने वाले 20 वर्षीय एक युवक की जान बचाई. युवक की पहचान नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी, बैंगलुरू से बीए-एलएलबी के द्वितीय वर्ष के छात्र मनीष दीक्षित के रूप में हुई. राजस्थान के अलवर का रहने वाला मनीष इस समय पहाड़गंज इलाके के एक होटल में ठहरा हुआ था. डीसीपी श्वेता चौहान ने बताया कि शनिवार को पहाड़गंज थाने में सूचना मिली थी कि होटल में ठहरे एक युवक ने ट्विटर पर पोस्ट कर दिया था कि वह अपनी जीवनलीला समाप्त करने जा रहा है. पुलिस हरकत में आई और उस होटल में पहुंची और जांच के बाद पता चला कि मनीष दीक्षित 15 मिनट पहले बिना चेक आउट किए होटल से निकल चुका था.

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नदी में डूब रहे युवक को बचाया गया

डीसीपी ने कहा कि आसपास के इलाकों में खोज की गई, लेकिन सब व्यर्थ हो गया. इसके बाद हमने उससे फोन पर संपर्क करने की भी कोशिश की, लेकिन उसे कॉल नहीं मिल रहा था. उसके मोबाइल फोन का लोकेशन एक नेटवर्क प्रदाता से प्राप्त किया गया और फिर उसे लगातार ट्रैक किया गया. बाद में उत्तरी दिल्ली में सिग्नेचर ब्रिज पर मनीष की पोजीशन मिली, जिसके बाद उत्तर जिला पुलिस को अलर्ट कर दिया गया. वहां से दो आरक्षक तुरंत पुल पर पहुंचे, तो देखा कि वह नदी में कूद गया और डूब रहा है. डीसीपी ने कहा कि पुलिस स्टाफ ने नदी में छलांग लगा दी और उसे सुरक्षित बचा लिया. इसके बाद उसे ट्रॉमा सेंटर सिविल लाइंस में भर्ती कराया गया. अब उसकी हालत स्थिर बताई जा रही है.

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परीक्षा में फेल होने से अवसाद में चला गया था छात्र

मनीष ने खुलासा किया कि वह अपनी तिमाही परीक्षा में एक विषय में फेल हो गया था और बाद में अवसाद में चला गया. उसने यह भी कहा कि वह अपने पिता और शिक्षकों का सामना करने की हिम्मत नहीं जुटा सका. अवसाद और प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचने के डर से उसने आत्महत्या करने का फैसला किया और इसके बारे में ट्विटर पर पोस्ट किया, जिसे उनके परिवार के सदस्यों ने पढ़ा और उन्होंने उसके बारे में पीसीआर को कॉल किया. अधिकारी ने बताया कि काउंसलिंग के बाद युवक को उसके परिवार को सौंप दिया गया.