रायपुर। छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण, घर वापसी को लेकर राजनीति दशकों से चल रही है. अब बात मान-सम्मान पर आ गई है. भाजपा ने इस मुद्दे को भुनाते हुए राजा प्रवीरचंद्र भंजदेव और दिलीप सिंह जूदेव के नाम पर धर्मांतरण और घर वापसी करने पर सम्मान देने की बात कही है. इस पर कांग्रेस इस घोषणा पर पलटवार करते हुए कहा कि भाजपा हमेशा से धर्म और जाति के नाम पर राजनीति करती है.

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दरअसल, उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने मीडिया से चर्चा में बताया कि विधानसभा चुनाव में हम लोगों ने अटल संकल्प पत्र जारी किया था. जल्द ही वादा को हम पूरा करेंगे. चुनाव के समय हमारा वादा था कि धर्मांतरित व्यक्ति को मूल धर्म में वापसी कराने वाले संस्था और व्यक्ति को सम्मानित करेंगे. हम जल्द ही ऐसे संस्था और लोगों को राजा प्रवीरचंद्र भंजदेव और स्वर्गीय दिलीप सिंह जूदेव जी के नाम पर सम्मान देंगे.

वहीं प्रदेश में कल मनाए जाने वाले हरेली त्योहार उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने कहा कि हरेली हमारा परंपरागत त्योहार है, हरेली हमारे किसानों का और गांव का त्योहार है. धूमधाम से इस बार भी हरेली का त्यौहार मनाया जाएगा. वहीं हरेली त्योहार को लेकर डिप्टी सीएम ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि कांग्रेस पार्टी किस संस्कृति और सभ्यता को मानती है, यह भी उन्हें जाहिर करना चाहिए.

कांग्रेस ने त्योहारों के नाम पर दिया धोखा

उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने त्योहारों के नाम पर छत्तीसगढ़ के जनता को लूटने और धोखा देने का काम किया है. छत्तीसगढ़ की जनता जानती है कि यह दिखावा और नौटंकी से कुछ नहीं होना है. छत्तीसगढ़ का मान सम्मान और गौरव बढ़ाने का काम बीजेपी ने किया. छत्तीसगढ़ को राजभाषा का दर्जा भाजपा ने दिया. छत्तीसगढ़िया लोगों के जीवन में परिवर्तन आया है.

भाजपा ने जीते जी नहीं किया जूदेव का सम्मान

इस पर कांग्रेस नेता शिव डहरिया ने तंज कसते हुए कहा कि दिलीप सिंह जूदेव का भाजपा ने जीते जी कोई सम्मान नहीं किया. किसी नेता का बीजेपी ने इतना अपमान नहीं किया, जितना जूदेव का किया है. ये एक ही जाति के पीछे क्यों पड़े हैं. भाजपा जानबूझकर धर्म और जाति के नाम पर राजनीति करती है, जिससे प्रदेश में हमेशा अशांति का माहौल बना रहता है. कानून व्यवस्था की स्थिति भी इसलिए खराब है.

कांग्रेस ने दिया छत्तीसगढ़ के त्योहार को बढ़ावा

वहीं हरेली त्योहार को लेकर अरुण साव के बयान पर शिव डहरिया ने पलटवार करते हुए कहा कि कांग्रेस ने छत्तीसगढ़ की परंपरा और तीज त्योहारों को बढ़ावा देने का किया. हरेली किसानों और प्रदेश का पहला त्योहार है. अरुण साव पैदा नहीं हुए थे, तब से ये परंपरा चल रही है. इन परंपराओं को हम आगे बढ़ाना चाहते थे, इसलिए हर साल हमारी सरकार में इस त्योहार को धूमधाम से मनाया गया. बीजेपी जानबूझकर इस तरह के बयान देती है.