सत्यपाल सिंह राजपूत, रायपुर। कोरोना का असर धनतेरस पर नजर आ रहा है. बाजार तो गुलजार नजर आ रहे हैं, लेकिन खरीदारी फीकी है. लोग का कहना है कि धनतेरस में खरीदी तो करनी है, भले ही ज्यादा नहीं तो थोड़ा ही सही. वहीं दुकानदारों का कहना है कि भीड़ तो पिछली दिवाली की ही तरह है, लेकिन दुकानदारी अपेक्षा अनुरूप नहीं है.

हिंदू पंचांग के अनुसार, इस बार 12 और 13 नवंबर यानी गुरुवार और शुक्रवार दोनों ही दिन धनतेरस का त्योहार मनाया जा रहा है. धनतेरस पर खरीदारी करना बेहद शुभ माना जाता है, कई लोग इस दिन सोने-चांदी से बनी चीजों को भी खरीदना पसंद करते हैं. लोग खरीदने भी पहुंचे रहे हैं, लेकिन खरीदारी में मितव्ययता भी बरत रहे हैं, याने जो जरूरत की हो, या उपयोगी हो उसे खरीद रहे हैं, केवल शो पीस के तौर पर खरीदारी नहीं कर रहे हैं.

सोना-चांदी खरीदने पहुंचे लोगों ने कहा कि हर साल धनतेरस में खरीदी करते आ रहे हैं, इस साल भी किए भले ही ज्यादा नहीं कम खरीदी किए क्योंकि कोरोना ने जेब को खाली कर दिया है. खासकर प्रायवेट नौकरी करने वाले ज्यादा प्रभावित हुए हैं, सरकारी नौकरी वालों का धनतेरस पहले जैसे ही है. ज्वेलरी शॉप में पहुंची प्रिया ने कहा कि इस बार हार खरीदने का सोची थी, लेकिन समय अनुसार अंगूठी खरीदी मैं संतुष्ट हूं. बाद में हार खरीदूंगी.

दुकानदारों का कहना है कि त्योहारी सीजन का इंतजार हमें बेसब्री से होता है, खासकर दिवाली के दौरान व्यापार, दुकानदारी को लेकर काफी अपेक्षा होती है, हर दिवाली जैसे ग्राहक आते रहें वैसे इस साल भी आ रहे हैं, लेकिन हर साल जैसे खुलकर खरीदी करते रहे हैं, इस साल ग्राहक कम मात्रा में खरीद कर रहे हैं, पिछले साल के अपेक्षा देखें तो मार्केट कम हैं.