रेणु अग्रवाल,धार। मध्यप्रदेश के धार कलेक्टर प्रियंक मिश्रा ने 5 जून विश्व पर्यावरण दिवस पर दुर्लभ प्रजाति के सदियों पुराने पेड़ों को सहेजने और संरक्षण करने नायाब तरीका खोजा है. आपके आसपास इस तरह के दुर्लभ प्रजाति के पेड़ हो तो आप उन पेड़ों के साथ फोटो खींचवाए और पोर्टल पर अपलोड करें. जिससे इन पेड़ों की गिनती हो सकेगी. इनके संरक्षण का कार्य हो सकेगा.
दुर्लभ प्रजाति के खुरासानी इमली के पेड़ और सदियों पुराने हजारों साल पुराने बरगद, पीपल और अन्य धार्मिक आस्था के पेड़ जो निजी भूमि पर हो या सरकारी भूमि पर या वन क्षेत्र में है. जिला प्रशासन कैंपेन चलाकर इन सभी नायाब वृक्षों को चिन्हित करेगी. इन पेड़ों की काउंटिंग करवाई जाएगी. कलेक्टर प्रियंक मिश्रा ने जिलेवासियों से अपील की है कि आपके आसपास ऐसे दुर्लभ प्रजाति के पेड़ सदियों पुराने पेड़ हो, उनके साथ आप एक सेल्फी लें. उन पेड़ों का फोटो लें और उन्हें पोर्टल पर अपलोड करें.
हम इसका एक कैंपेन बनाएंगे. इससे जिला प्रशासन को पेड़ों की संख्या के बारे में पता लगाने में आसानी होगी. जिससे जिला प्रशासन इन पेड़ों को सुरक्षित रख पाएगा. इनकी संख्या में बढ़ोतरी के प्रयास जिला प्रशासन कर पाएगा. वहीं पेड़ों में कोई बीमारी लगी है, तो उसका भी उपचार करवाया जा सकेगा.
आपको बता दें कि पिछले दिनों मांडूकी खुरासानी इमली जो कि दुर्लभ प्रजाति के पेड़ हैं. उन्हें हैदराबाद के एक बॉटनिकल गार्डन मालिक ने औने पौने दामों पर खरीद कर जा रहा था. जिसे कलेक्टर प्रियंक मिश्रा ने स्थानीय लोगों की शिकायत के बाद पेड़ों को ले जाने से रोक दिया. वही जैव विविधता कानून के तहत इन पेड़ों को ले जाने की अनुमति की बात कही थी. वहीं पेड़ों को पुनः मांडू में ट्रांसप्लांट करवाया गया था.
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