सत्यपाल सिंह राजपूत, रायपुर। राज्य सरकार ने इलाज के लिए लोगों को बड़ी सहुलियत देते हुए सभी प्राथमिकता और अंत्योदय राशन कार्डधारी परिवार को 5 लाख रुपए तक के उपचार का लाभ प्रदान किया है. शेष परिवारों को 50 हजार रुपए तक का उपचार लाभ मिलेगा.
राज्य सरकार की डॉ. खूबचन्द बघेल स्वास्थ्य सहायता योजना को लेकर 17 जनवरी से बड़ा परिवर्तन हो गया है. अब पहचान पत्र के लिए योजना में शामिल राज्य के सभी परिवारों को स्मार्ट कार्ड पर निर्भर नहीं रहना होगा. अब मरीज व उनके परिजनों को पहचान पत्र के रूप में प्राथमिकता, अंत्योदय राशन कार्ड के साथ आधार कार्ड अथवा कोई भी शासकीय पहचान पत्र साथ लेकर अनुबंधित अस्पतालों में जाना होगा. सॉफ्टवेयर इन मरीजों की पहचान अब नए फार्मूले से करेगा. यह नया फार्मूला सॉफ्टवेयर में अपलोड किया जा चुका है, जिसने आज से काम करना भी शुरू कर दिया है.
पूर्व से जारी सभी ई-कार्ड से भी स्वास्थ्य लाभ मिलता रहेगा
जिनके नाम पूर्व मे जारी SECC ( सामाजिक आर्थिक एवं जातीय सर्वे ) के अंतर्गत आयुष्मान भारत के लाभार्थी है उनको भी 5 लाख का लाभ मिलता रहेगा | SECC नंबर ना होने की अवस्था मे हितग्राही के नाम से भी नए ई – कार्ड बनाए जा सकते है तथा योजनांतर्गत लाभ प्राप्त कर सकते है.
प्रदेश के सभी राशनकार्ड धारी परिवारों को मिलेगा स्वास्थय बीमा अंतर्गत उपचार लाभ| छप्पन लाख प्राथमिकता एवं अंत्योदय राशनकार्ड धारी परिवारों को मिलेगा रू. 05 लाख तक का उपचार लाभ तथा शेष बचे परिवारों को रू. 50 हजार तक का मिलेगा उपचार लाभ.
मरीज या लाभार्थी परिवार को SECC नंबर , पूर्व मे जारी ई – कार्ड अथवा राशन कार्ड या राशन कार्ड का फोटो के साथ आधार कार्ड या अन्य शासकीय पहचान पत्र लेकर अनुबंधित अस्पताल जाकर पंजीकृत चिकित्सालय मे अपना इलाज प्राप्त कर सकते है.
डॉ खूबचन्द बघेल स्वास्थय सहायता योजना का लाभ राशन कार्ड के माध्यम से प्रारम्भ होने से राज्य के अब 65 लाभ परिवारों को प्राप्त होगा | स्मार्ट कार्ड के माध्यम से सिर्फ 61 लाख परिवारों को ही लाभ प्राप्त हो रहा था.
मरीजो को सहायता देने हेतु हर चिकित्सालाय मे एक कोरडीनेटर रखा गया है.
अस्पताल में ही बनेगा ई-कार्ड
स्वास्थ्य संचालक नीरज बनसोड़ ने कहा कि राज्य सरकार ने राशन कार्ड को डॉ. खूबचन्द बघेल स्वास्थ्य सहायता योजना के लिए अनिवार्य करते हुए मरीजों की राह आसान कर दी है. अब राशनकार्डधारी परिवारों को किसी सदस्य के बीमार पडने पर राशन कार्ड के साथ आधार कार्ड या अन्य शासकीय पहचान पत्र लेकर अनुबंधित अस्पताल जाना होगा. अनुबंधित अस्पतालों में ही तत्काल बीआईएस कर ई-कार्ड बना दिए जायेंगे. परिवार को योग्यता के हिसाब से पचास हजार या पांच लाख रुपए तक का इलाज मुहैया कराया जाएगा.
एसएनए का पूरा समन्वय
नई व्यवस्था के लागू होने के पूर्व ही राज्य नोडल एजेंसी ने पूरा समन्वय बना रखा है. सॉफ्टवेयर में हुए बड़े बदलाव के लिए सभी सॉफ्टवेयर इन्जीनियरों के मोबाइल नंबर अस्तपालों को पूर्व से ही मुहैया करा दिए गए हैं. अस्पतालों व मरीजों को किसी भी तरह की दिक्कत होने पर तत्काल मदद उपलब्ध कराई जा रही है. इसके लिए राशनकार्ड के साथ कोई एक शासकीय पहचान पत्र लाना अनिवार्य किया गया है, साथ ही राशनकार्ड के अलावा समाजिक आर्थिक सर्वेक्षण 2011 के हितग्राहियों को योजना का लाभ पूर्ववत् मिलता रहेगा.
पूर्व में बने ई-कार्ड करते रहेंगे काम
डॉ. खूबचन्द बघेल स्वास्थ्य सहायता योजना लागू होने से पूर्व ही आस्पतालों व कियोस्क केन्द्रों में ई-कार्ड बनाने का काम चल रहा था, जो कि अब भी यथावत् जारी है. पूर्व में बने हुए ई-कार्ड में किसी तरह की दिक्कत आने पर अस्पतालों व कियोस्क केन्द्रों में ई-कार्ड में बदलाव करते हुए नये कार्ड जारी कर दिये जाएंगे.