नई दिल्ली। ईवीएम के साथ छेड़छाड़ के राजनीतिक हमलों के बीच एक बार फिर चुनाव आयोग ने दावा किया है कि इस प्रकार के आरोप बेबुनियाद हैं और साफ कहा है कि ईवीएम के साथ कोई टैंपरिंग संभव नहीं है. चुनाव आयोग ईवीएम के समर्थन में खुलकर सामने आया है. बता दें कि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल द्वारा इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) पर सवाल उठाए जाने के बाद चुनाव आयोग ने कहा है कि वह किसी से भी ईवीएम की जांच करा लें. चुनाव आयोग ने इसके लिए खुला चैलेंज दिया है. चुनाव आयोग ने ये फैसला एक उच्चस्तरीय बैठक के बाद किया. इस बैठक में आयोग ने उन दो सार्वजनिक कंपनियों के अधिकारियों को बुलाया था जो ईवीएम बनाती हैं.
केजरीवाल का आरोप है कि उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में इस्तेमाल हुई ईवीएम में बड़ी सफाई से छेड़छाड़ हुई है. उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश के भिंड उपचुनाव की जिस ईवीएम में गड़बड़ी मिली है, उसे उत्तर प्रदेश से भेजा गया था.
केजरीवाल का चुनाव आयोग पर आरोप है कि इस मामले में कानून का उल्लंघन हुआ है. बगैर 45 दिन पूरा हुए मशीन दूसरे चुनाव में भेज दी गई. केजरीवाल ने आयोग से कहा कि वह ईवीएम उन्हें दे दे, वह दिखा देंगे कि इसमें छेड़छाड़ कैसे की जाती है. बगैर ईवीएम जांच के होने वाले चुनावों को केजरीवाल ने बेकार बताया है.