Delhi Drugs Case: पिछले 10 दिनों में दिल्ली में 7600 करोड़ रुपये के ड्रग्स जब्त किए गए हैं. अब इस मामले में ईडी की एंट्री हुई है और उसने औपचारिक रूप से मामला दर्ज कर लिया है.

Delhi Drugs Case: दिल्ली ड्रग्स मामले की जांच अब प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा की जाएगी केंद्रीय जांच एजेंसी ने 7600 करोड़ रुपये की ड्रग्स बरामदगी के सिलसिले में प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉंड्रिंग एक्ट (PMLA) के तहत मामला दर्ज किया है.

मामला दर्ज होने के बाद, ईडी की टीम दिल्ली एनसीआर और मुंबई में कई ठिकानों पर छापेमारी कर रही है. यह छापेमारी आरोपी और आरटीआई सेल के पूर्व चेयरमैन तुषार गोयल के वसंत विहार स्थित आवास, उनकी पत्नी के राजौरी गार्डन में घर, प्रेम नगर में आरोपी हिमांशु के घर, मुंबई के नालासोपारा में भारत कुमार के घर, दिल्ली के झंडेवालान में तुषार बुक पब्लिकेशन और गुरुग्राम में ABN Buildtech प्राइवेट लिमिटेड के दफ्तर पर की जा रही है.

10 दिनों में बरामद हुई 7600 करोड़ रुपये की ड्रग्स

दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने रमेश नगर इलाके में की गई छापेमारी में दो हजार करोड़ रुपये की ड्रग्स बरामद की. इससे पहले, 1 अक्टूबर को महिपालपुर में की गई एक छापेमारी में 5600 करोड़ रुपये की ड्रग्स पकड़ी गई थी. अब तक, स्पेशल सेल ने इस मामले में सात आरोपियों को गिरफ्तार किया है और उनके ठिकानों से कुल 7600 करोड़ रुपये की ड्रग्स बरामद की है.

दिल्ली पुलिस ने जारी किया लुकआउट सर्कुलर

दिल्ली पुलिस ने 7000 करोड़ रुपये से अधिक की ड्रग्स बरामदगी की जांच के तहत 6 लोगों के खिलाफ लुकआउट सर्कुलर जारी किया है. इनमें एक भारतीय मूल का ब्रिटिश नागरिक भी शामिल है, जो पश्चिमी दिल्ली से 208 किलोग्राम नशीले पदार्थ की हालिया बरामदगी के बाद देश छोड़कर भाग गया.

पुलिस सूत्रों के अनुसार, ब्रिटिश नागरिक सविंदर सिंह पिछले महीने 208 किलोग्राम की खेप की कंसाइनमेंट और डिलीवरी की निगरानी के लिए भारत आया था, जिसे दक्षिण अमेरिकी देशों से लाए जाने का संदेह है. सूत्रों ने बताया कि सविंदर सिंह ने सिंडिकेट के पहले चार सदस्यों की गिरफ्तारी के तुरंत बाद यूके भागने से पहले दिल्ली में लगभग 25 दिन बिताए थे.

ब्रिटेन तक जुड़े ड्रग्स रैकेट के तार

सविंदर सिंह सहित आधा दर्जन विदेशी नागरिकों के खिलाफ लुकआउट सर्कुलर (एलओसी) जारी किया गया है, जो इस ड्रग्स रैकेट में शामिल हैं. इससे पहले वीरेंद्र बसोया के खिलाफ भी एलओसी जारी की गई थी, जो विदेश में स्थित है और जिसने भारत में दो लोगों को कोकीन सप्लाई के लिए भेजा था. वीरेंद्र बसोया विदेश में रहकर दिल्ली के तुषार गोयल, यूके के जितेंद्र गिल उर्फ जस्सी और सविंदर सिंह के साथ मिलकर ड्रग सिंडिकेट का संचालन करता है.

गिरफ्तार किए गए गिल और तुषार गोयल के अलावा, वीरेंद्र बसोया और सविंदर की तलाश की जा रही है, जो वर्तमान में विदेश में हैं. रमेश नगर में जिस गोदाम में सविंदर ने 204 किलो ड्रग्स रखी थी, उसके मालिक और प्रॉपर्टी डीलर से भी पुलिस ने पूछताछ की है. यह गोदाम 5000 रुपये में किराए पर लिया गया था और इसमें नमकीन के पैकेटों में कोकीन छिपाकर पैक किया गया था.

पुलिस सूत्रों के अनुसार, यह सिंडिकेट एक-दूसरे से बातचीत नहीं करता और सोशल मीडिया पर कोड वर्ड के जरिए संपर्क करता है. ड्रग्स डील के लिए “थ्रीमा” ऐप का उपयोग किया जाता है. डील के दौरान कटे-फटे नोटों का इस्तेमाल किया जाता था, ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि डिलीवरी सुरक्षित हाथों में हो रही है और कोई ट्रेप नहीं है.