सत्यपाल राजपूत, रायपुर। स्कूल शिक्षा विभाग की लचर व्यवस्था की वजह से प्रदेश के लगभग सभी जिलों में पिछले सत्र के छात्रवृत्ति का वितरण नहीं हुआ है. जिम्मेदार अधिकारी कोरोना कॉल का हवाला देकर पल्ला झाड़ रहे हैं. अभी तक पिछले एवं गत वर्ष की सूची जिला शिक्षा अधिकारियों ने संचालनालय में जमा नहीं कराया है, जबकि कल अंतिम दिन है, पोर्टल बंद कर दिया जाएगा.

संचालक की दो टूक चेतावनी

ऐसे में लोक शिक्षण संचालक जितेंद्र शुक्ला ने साफ शब्दों में जिला शिक्षा अधिकारियों को कहा कि अगर योग्य विद्यार्थी छात्रवृति योजना से वंचित होते हैं तो उसके लिए जिम्मेदार वहां के शिक्षा अधिकारी होंगे, तो वहीं एक दिन की मोहलत शिक्षा अधिकारियों को दिया गया है. पिछले साल के बचे विद्यार्थी एवं इस साल के विद्यार्थियों का सही जानकारी आज शाम तक जमा करें, क्योंकि 16 जनवरी को छात्रवृति पोर्टल बंद कर दिया जाएगा.

शिक्षा अधिकारी ने दिया ये तर्क

रायपुर जिला शिक्षा अधिकारी जीआर चंद्राकर ने बताया कि पिछले साल के उन विद्यार्थियों का छात्रवृति विद्यार्थियों को नहीं मिला जिनकी जानकारी गलत है, जैसे खाता नंबर गलत है, या बंद हो चुका है, ऐसे लोगों का लिस्ट बनाया जा रहा है. कोरोना कॉल में स्कूल बंद होने के कारण ये डिटेल लेने में देरी हो रही है, क्योंकि बच्चे स्कूल आ नहीं रहे हैं. उन तक पहुंच कर जानकारी ली जा रही है, उसके बाद गत वर्ष और पिछले साल का छात्रवृत्ति दिया जाएगा..

पिछले साल का क्यों रूका छात्रवृत्ति

विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक, पिछले साल गलत डिटेल, खाता बंद होने एवं कई बैंक का मर्ज हो जाने से आईएफसी कोर्ड बदलने की वजह राशि लाभार्थी विद्य़ार्थियों को नहीं मिला है, फिर लॉक़डॉउन हुआ, स्कूल बंद हो गया. ऐसी स्थिति में शिक्षक बच्चों के घर-घर जाकर डिटेल ले रहे हैं, जानकारी सही होने के बाद फरवरी पिछले साल के बचे छात्रवृति विद्यार्थियों तक पहुंचाने का दावा किया गया है.

लचर व्यवस्था

ऑफलाईन व्यवस्था में बढ़ती समस्या को देखते हुए छात्रवृति के लिए ऑनलाईन व्यवस्था लागू किया गया, लेकिन समस्या यथावत है, योग्य विद्यार्थी आज भी छात्रवृति के लिए चक्कर काटने को मजबूर है.