लखनऊ. अगले साल की शुरुआत में इलाहाबाद में कुंभ मेले का आयोजन होने वाला है. जिसमें लगभग 2500 ट्रांसजेंडर संन्यासी और संत किन्नर अखाड़ा के अंतर्गत हिस्सा लेंगे. इलाहाबाद के संगम पर किन्नर गांव बनाया जाएगा. यहां पर लोगों को धारा 377 रद्द करने के बाद की परिस्थितियों को लेकर जागरुक किया जाएगा. यह गांव धर्म और सांस्कृति का हब होगा. यह बातें आचार्य महामंडलेश्वर लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी ने अपने आदेश में कही हैं.
कुंभ मेला 15 जनवरी और 4 मार्च संगम किनारे आयोजित किया जाएगा. त्रिपाठी ने कहा, ‘किन्नर अखाड़ा के सदस्य ट्रांसजेंडर्स की संस्कृति, उनके रीति-रिवाज, परंपरा और जीवनशैली को दुनिया के साथ इस धार्मिक समागम में साझा करेंगे.’ उन्होंने कहा, ‘कुंभ के दौरान देश के विभिन्न हिस्सों से ट्रांसजेंडर्स आएंगे. हमारा उद्देश्य उन्हें एकजुट करने, उनके ममालों का निपटान करने, उनके बारे में गलतफहमी खत्म करने, लोगों को उनके अधिकारों के बारे में बताने और सुप्रीम कोर्ट के आदेश से अवगत कराने का होगा. इसके अलावा हम लोगों में यह संदेश पहुंचाएंगे कि सनातन धर्म में ट्रांसजेडर्स का क्या स्थान है.
त्रिपाठी ने कहा, ‘किन्नर गांव में हर शाम को धार्मिक और सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित करेंगे जिसमें विभिन्न क्षेत्रों से आए लोक कलाकार प्रस्तुति देंगे.’ त्रिपाठी ने कहा, ‘कुंभ मेला प्राधिकरण के साथ बातचीत जारी है. किन्नर गांव बनाने के लिए अधिकारी मेला क्षेत्र में जमीन देंगे. वह अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद से किन्नर अखाड़ा को मान्यता देने का इंतजार कर रहे हैं.